शामली।  जिले के 22 ग्राम पंचायतों में 3.79 करोड़ के घोटाले के बाद अब जिले के 12 गांवों में करीब 58 लाख रुपये का गोलमाल सामने आया है। शौचालय, ओपन जिम निर्माण से लेकर सफाई और अन्य विकास कार्यों के नाम पर खेल किया गया। लेखा परीक्षक कार्यालय ने उक्त मामले पकड़े हैं। डीपीआरओ और अन्य अधिकारियों को पत्र भेजकर ग्राम सचिवों पर भी शिकंजा कसने को कहा गया है। विभागीय अधिकारियों ने भी कार्रवाई की तैयारी कर ली है।

ऑडिट में सामने आया कि ताहिरपुर भभीसा गांव में 31 लाख रुपये के कराए गए विकास कार्यों का ब्योरा नहीं दिया गया। बीनड़ा गांव में 1.42 लाख रुपये के विकास कार्य योजना वर्ष 2022-23 के अनुसार न कराकर वर्ष 2021-22 की कार्ययोजना के अनुसार कराए गए एवं सेक्टर के अनुसार कार्य न कराकर गंभीर अनियमित्ता की गई। इसी तरह राझड़ गांव में विकास कार्य कराने के बावजूद 9.56 लाख रुपये के विकास कार्य कराए गए मगर अभिलेख प्रस्तुत नहीं किए गए। इसी गांव में 2.12 लाख रुपये प्रधान के पास दिखाए गए, मगर संबंधित के प्रमाण पत्र उपलब्ध नहीं कराए गए।

इसी तरह भोगी माजरा गांव में 2.60 लाख रुपये के सफाई, शौचालय मरम्मत के कार्य कराए गए ,मगर कोई भी प्रमाण पत्र उपलब्ध नहीं कराए गए। खेड़ा भाऊ गांव में नाला सफाई, विज्ञापन कार्य पर व्यय का ब्योरा उपलब्ध नहीं कराए गए, बुटराडी में ओपन जिम निर्माण के नाम पर एक लाख रुपये खर्च किए गए मगर अभिलेख प्रस्तुत नहीं किए। भनेड़ा में छह लाख , सिंभालका में 1.19 लाख रुपये ओपन जिम पर खर्च किए गए व्यय के दस्तावेज उपलब्ध नहीं कराए, लिलौन गांव में कृषि यंत्र खरीदने के नाम पर 4 लाख रुपये, हसनपुर में 60 हजार, खानपुर तलवा माजरा ,बघेव में 57 हजार में विकास कार्यों के नाम पर गोलमाल सामने आया।

जिलाधिकारी अरविंद चौहान का कहना है कि जिन गांवों में गोलमाल सामने आया है, ग्राम सचिवों को नोटिस जारी कराए जा रहे हैं। कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।