मुजफ्फरनगर। इस्लामिक विद्वान मौलाना कलीम सिद्दीकी के मंसूबों की जांच के लिए एटीएस और एनआईए ने वेस्ट यूपी में डेरा डाल लिया है। मौलाना का पश्चिम के जिलों में बड़ा नेटवर्क फैला है। सुरक्षा एजेंसियां उनके साथ मिलकर काम करने वाले लोगों की कुंडलियां खंगाल रही है। उसके देश-विदेश तक भी संबंध हैं। इसमें स्थानीय पुलिस से भी मदद मांगी गई है।एटीएस यूपी ने लखनऊ में मौलाना कलीम सिद्दीकी की गिरफ्तारी दिखाई है। कलीम तीन मौलानाओं और ड्राईवर सलीम के साथ लिसाड़ी गेट स्थित हूंमायु नगर में एक कार्यक्रम से वापस लौट रहे थे। एनएच-58 पर एटीएस की टीम ने उनकी गाड़ी को घेरा और उन्हें लेकर लखनऊ ले गए।
सुरक्षा एजेंसियों की जांच में सामने आया है कि मौलाना कलीम का वेस्ट यूपी मेें बड़ा नेटवर्क है। यही नहीं, धर्मांतरण कराने के लिए विदेश तक मौलाना के कनेक्शन थे। विदेश से धर्मांतरण कराने वाले गिरोह के लिए करोड़ों रुपये की फंडिग होती थी। मौलाना के ट्रस्ट में 1.50 करोड़ की रकम एकमुश्त आई है।
मौलाना का मेरठ, मुजफ्फरनगर, शामली, सहारनपुर और बिजनौर समेत कई जिलों में नेटवर्क फैला है, जिसके चलते सुरक्षा एजेंसियाें ने वेस्ट यूपी में डेरा डाल लिया है। एजेंसियां पता लगाने में लगी है कि मौलाना के गिरोह में कौन-कौन शामिल हैं। धर्मांतरण व विदेश से होने वाली फंडिंग का पैसा किस-किसके पास गया है, इसकी छानबीन की जा रही है
मौलाना कलीम सिद्दीकी की गतिविधियां संदिग्ध थी, इसकी जानकारी सुरक्षा एजेंसियों को पहले से थी। कलीम के खिलाफ सुबूत जुटाने और निगरानी के लिए एटीएस लग गई। पुख्ता सुबूत मिलने के बाद मौलाना को एटीएस ने उठाया। पुलिस का दावा है कि एटीएस की पूछताछ में मौलाना ने धर्मांतरण वाली बात कबूल कर ली। पुलिस ने तीन टीम बनाकर मौलाना को मेरठ से उठाया है।
मौलाना कलीम सिद्दीकी और तीन साथी मौलाना व ड्राइवर सलीम को उठाकर एटीएस सीधे लखनऊ अपने हेड क्वार्टर ले गई। वहां पांचों से पुलिस ने पूछताछ की। मौलाना फुलत नहीं, बल्कि दिल्ली में परिवार के पास जाने वाले थे। इसकी जानकारी एटीएस टीम को पहले से थी। एटीएस के पास मौलाना कलीम से जुड़े कई महत्वपूर्ण दस्तावेज और रिकॉडिंग है। जिन्हें सामने रखते ही मौलाना ने कहा कि गलती हो गई।
धर्मांतरण के लिये विदेशों से फंडिंग का कनेक्शन मौलाना कलीम से जुड़ गया है। इसकी खुलासा होने के बाद मेरठ और मुजफ्फरनगर समेत वेस्ट यूपी के जिलों की पुलिस भी जांच में जुट गई। सुरक्षा एजेंसियों ने मद्द करने के लिए अब कानून व्यवस्था एडीजी प्रशांत कुमार ने कप्तानों को निर्देश दे दिए हैं। जिसके बाद लोकल स्तर से भी मौलाना से जुड़े लोगों की जांच शुरू हो गई है।
मौलाना कलीम सिद्दीकी का गहरा कनेक्शन वेस्ट यूपी से है। वेस्ट के जिलों में धर्मांतरण कराने के लिए करोड़ों की फंडिंग में भी यहां पर हो रही है। इसकी जांच में सुरक्षा एजेंसियां व संबंधित जिला पुलिस लग गई है। कलीम के खिलाफ कई महत्वपूर्ण सुबूत मिले हैं। पुलिस हर पहलुओं पर जांच कर रही है।