मेरठ। दिल्ली-देहरादून (एनएच-58) हाईवे पर मौजूद ब्लाक स्पाट पर हादसों को रोकने की कवायद शुरू हो गई है। बुधवार को एसपी यातायात ने टोल के मैनेजर संग बैठक कर पूरी रणनीति बनाई। हाईवे पर एंबुलेंस खड़ी करने से लेकर लगातार पब्लिक एड्रेस से जागरूक करने की बात तय हुई।

हाईवे किनारे मौजूद होटल के कर्मचारी और व्यापारियों को प्राथमिक उपचार का परीक्षण दिया जाएगा। एनएच-58 पर मेरठ जनपद में 33 किमी का हाईवे आता है। यहां पर ब्लैक स्पाट की संख्या 10 हैं। परतापुर में मोहिउद्दीनपुर शुगर मिल, परतापुर तिराहा, बूभबराल, कंकरखेड़ा में खड़ौली कट, जटौली कट, डाबका कट, पल्लवपुरम में पल्हेड़ा कट और दौराला में मटौर कट, वलीदपुर, भराला कट हैं।

यहां पर लगातार हादसों में वाहन चालकों की जान जा रही है। जिंदगी बचाने की जद्दोजहद के बीच एसपी यातायात जितेंद्र कुमार श्रीवास्तव और सिवाया टोल मैनेजर प्रदीप चौधरी के बीच बैठक हुई। अवैध कट बंद कराने से लेकर जगह-जगह साइन बोर्ड लगाने पर सहमति हुई। इसके अलावा 33 किमी हाईवे पर दो जगह एंबुलेंस भी तैनात की जाएगी। लाइट की भी व्यवस्था दुरुस्‍त की जाएगी।

बैठक के दौरान सबसे महत्वपूर्ण फैसला यह हुआ कि हाईवे किनारे मौजूद होटल, रेस्टोरेंट और ढाबों के कर्मचारियों को जल्द ही प्राथमिक उपचार का प्रशिक्षण दिया जाएगा। इसके साथ ही व्यापारियों को भी जान बचाने के बारे में जानकारी दी जाएगी। यह सब टोल की ओर से होगा। प्राथमिक उपचार की किट भी मुहैया कराई जाएगी। मैनेजर ने बताया कि सभी का उद्देश्य यह है कि हाईवे पर हादसों में करने वालों की संख्या शून्य हो जाए।

33 किमी हाईवे पर कई अवैध कट हैं, जहां पर हादसों का अंदेशा बना रहा है। आसपास रहने वाले दो पहिया वाहन चालक इन कटों का अधिक इसतेमाल करते हैं। हाईवे पर तेज गति से आने वाले वाहन भिड़ जाते हैं। मैनेजर ने बताया कि पुलिस से फोर्स की मांग की गई है। इसके बाद कटों को बंद करने का कार्य शुरू कर दिया जाएगा।

दिल्ली-देहरादून हाईवे पर 10 ब्लैक स्पाट हैं। उनके आसपास साइन बोर्ड से लेकर लाइट की व्यवस्था दुरुस्त करने के लिए कहा गया है। इसके साथ ही टोल पर लगे पब्लिक एड्रेस सिस्टम से भी लोगों को जागरूक किया जाएगा। हाईवे किनारे होटल कर्मचारियों और व्यापारियों को भी प्रशिक्षण दिया जाएगा।