लखनऊ। यूपी में पंचायत चुनाव मार्च में हो सकते हैं। अधिकारियों के मुताबिक फरवरी के दूसरे या तीसरे सप्ताह में इसकी अधिसूचना जारी हो सकती है। प्रशासनिक तैयारियां जोरों पर हैं। इस बार प्रदेश में ग्राम प्रधान, ग्राम पंचायत सदस्य. क्षेत्र पंचायत सदस्य और जिला पंचायत सदस्य के चुनाव इस बार एक साथ होंगे। वोटर लिस्ट, परिसीमन और आरक्षण लिस्ट पर काम अंतिम चरण में है। कई जिलों में वार्डों के आरक्षण की पहली लिस्ट आ चुकी है, अब इसमें आपत्तियां मांगी गई हैं।
28 नई नगर पंचायतें बनीं :
नगर विकास मंत्री आशुतोष टंडन ने बताया कि प्रदेश में 276 राजस्व ग्रामों को शामिल करते हुए 28 नई नगर पंचायतें बनाई गई हैं। 77 राजस्व ग्रामों को शामिल करते हुए 12 नगर पंचायतों का सीमा विस्तार किया गया है। इसके साथ 102 राजस्व गांवों को शामिल करते हुए नौ नगर पालिका परिषदों और नगर निगम गोरखपुर में एक और नगर निगम वाराणसी में नौ राजस्व गांवों को शामिल करते हुए सीमा विस्तार किया गया है। प्रदेश में अब निकायों की संख्या 735 हो गई है। इनमें 17 नगर निगम, 200 नगर पालिका परिषद और 518 नगर पंचायतें हो गई हैं। नए निकायों के गठन और विस्तार होने के बाद नगर में 905700 जनसंख्या और 57474 हेक्टर क्षेत्रफल की वृद्धि हुई है। वर्ष 2011 की जनगणना के अनुसर राष्ट्रीय स्तर पर 31.16 प्रतिशत शहरी क्षेत्र है। उत्तर प्रदेश राज्य में मात्र 22 फीसदी शहरी क्षेत्र है। इस हिसाब से यूपी काफी पीछे है। राज्य सरकार इसीलिए प्रदेश में शहरीकरण की वृद्धि पर ध्यान दे रही है।
इस बार चार चुनाव होंगे एक साथ:
पिछली बार ग्राम प्रधान व ग्राम पंचायत सदस्य के चुनाव एक साथ हुए थे। क्षेत्र पंचायत सदस्य व जिला पंचायत सदस्य के चुनाव अलग से हुए थे। इस बार समय बचाने के लिए चारों पदों के चुनाव एक साथ कराने की तैयारी है। सूत्राें के अनुसार इस बार चुनाव चार चरण में हो सकता है। कोशिश है कि 31 मार्च तक चुनाव की प्रक्रिया पूरी कर ली जाए। पंचायतराज विभाग की अभी तक की तैयारियों के मुताबिक फरवरी के अंतिम सप्ताह में चुनाव की अधिसूचना जारी हो सकती है।