नई दिल्ली. भारतीय रेल दुनिया का चौथा सबसे बड़ा रेल नेटवर्क है, जिसमें लग्जरी से लेकर लोकल ट्रेन रोजाना लोगों को उनकी मंजिल तक पहुंचाती हैं. कोरोना महामारी के चलते भारतीय रेलवे ने ज्यादातर ट्रेन बंद कर दी थीं, जो अब धीरे-धीरे शुरू हो रहीं हैं. फिलहाल सभी ट्रेनें 0 नंबर के साथ स्पेशल ट्रेन के बतौर चल रहीं हैं.

हर साल अक्टूबर के महीने में रेलवे टाइम टेबल में बदलाव करता है लेकिन बीते साल कोरोना के चलते ये नहीं हो पाया था. लेकिन इस साल रेलवे टाइम टेबल जारी करेगा. भारतीय रेलवे ने सुविधाओं की बेहतरी के लिए अपनी दो सर्विस को बंद करने का फैसला लिया है. जानिए इनके बारे में….

जागरण में छपी एक खबर के अनुसार रेलवे लिंक एक्सप्रेस और स्लीप कोच के संचालन को कम करने की तैयारी कर रहा है. रेलवे के इस कदम से ट्रेनों में एक्सट्रा कोच लगाने या हटाने की जरूरत खत्म हो जाएगी, जिससे टाइम बचेगा और ट्रेनें अपनी डेस्टिनेशन तक तय समय में पहुंच पाएंगी. इसकी शुरुआत उत्तर रेलवे की कुछ ट्रेनों से हो रही है.

लिंक एक्सप्रेस का मतलब है, जब अलग-अलग रूट से आने वाली दो ट्रेनें किसी कॉमन स्टेशन पर आकर जुड़ती है और फिर एक जगह के लिए रवाना होती हैं तो इसे लिंक एक्सप्रेस कहते हैं. वहीं जब ये ट्रेन वापसी करते समय जिस स्टेशन पर जुड़ी थीं वहीं से अलग भी हो जाती हैं और अलग-अलग रूट पर चली जाती हैं इसे स्लिप कोच कहते हैं.

रेलवे के मुताबिक ट्रेनों की लिंकिंग और स्लिप ट्रेनों को जोड़ने और अलग करने में समय की बर्बादी होती है, जिस वजह से ट्रेनें लेट हो जाती हैं.

रेलवे कई ट्रेनों में लिंक एक्सप्रेस और स्लीप कोचेस की सर्विस बंद करने जा रहा है. इन ट्रेनों में हरिद्वार-ऊना हिमाचल जनशताब्दी एक्सप्रेस, वाराणसी-देहरादून एक्सप्रेस, कालका-श्रीगंगानगर, ओखा-देहरादून एक्सप्रेस, कोच्चुवेली-देहरादून एक्सप्रेस, मदुरई-देहरादून एक्सप्रेस और हावड़ा-देहरादून एक्सप्रेस शामिल हैं. लिंक एक्सप्रेस और स्लीप कोचेस की सर्विस बंद होने के बाद यात्रियों को काफी लाभ होगा. क्योंकि इसके बाद ट्रेन समय से अपनी डेस्टिनेशन पर पहुंच पाएंगी.

आने वाले महीनों में कई बड़े त्योहार हैं, जिनमें लोग अच्छी खासी तादात में सफर करते हैं. इन त्योहारों के मद्देनजर रेलवे फेस्टिव स्पेशल ट्रेनों को शुरू करने जा रहा है. दशहरा, दिवाली और छठ पूजा को देखते हुए दक्षिण पूर्व रेलवे ने 11 जोड़ी स्पेशल ट्रेनों को एक्सटेंशन देने का ऐलान किया है. दरअसल, इन ट्रेनों को सिंतबर में बंद करने की तैयारी थी, लेकिन अब रेलवे ने त्योहारों में लोगों की भीड़ भाड़ को देखते हुए इन्हें बढ़ाने का फैसला लिया है.