
नई दिल्ली. केंद्र सरकार ने देश के सामने आम बजट पेश कर दिया है। इस बजट में सरकार ने महिलाओं, युवाओं और बुजुर्गों पर खासा फोकस किया है और इन वर्गों के लिए बजट में कई प्रावधान किए गए हैं। तो आइए जानते हैं कि देश के विकास के लिए अहम इन वर्गों के लिए सरकार ने क्या एलान किए हैं। आइए जानते हैं…
आम बजट 2023 में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने प्रधानमंत्री विश्वकर्मा कौशल सम्मान योजना का ऐलान किया है। इस योजना के तहत युवाओं को स्किल्ड बनाया जाएगा। इंजीनियरिंग संस्थानों में 5जी सेवाओं से लैस 100 लैब्स स्थापित की जाएंगी। जिसमें स्मार्ट क्लासरूम, प्रीसिसन फार्मिंग, इंटेलीजेंट ट्रांसपोर्ट सिस्टम और हेल्थकेयर संबंधित एप्स विकसित की जाएंगी। डायरेक्ट बेनेफिट ट्रांसफर के तहत 47 लाख युवाओं को बीते तीन सालों में सहायता दी गई। जल्द ही नेशनल अप्रेंटिस स्कीम की शुरुआत की जाएगी। प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना 4.0 लॉन्च की जाएगी। युवाओं को स्किल्ड बनाने के लिए 30 स्किल इंडिया इंटरनेशनल सेंटर्स विभिन्न राज्यों में स्थापित किए जाएंगे।
स्टार्टअप और अकादमिया स्तर पर रिसर्च और इनोवेशन को बढ़ावा देने के लिए नेशनल डाटा गवर्नेंस पॉलिसी लाई जाएगी। देशभर में 50 टूरिस्ट डेस्टिनेशन सलेक्ट किए जाएंगे, जिन्हें विकसित कर राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय पर्यटकों को लुभाया जाएगा। इससे बड़ी संख्या में रोजगार और स्वरोजगार के मौके बनेंगे।
वित्त मंत्री ने कहा कि एग्रीकल्चर एक्सेलेटर फंड बनाया जाएगा, जिससे कृषि आधारित स्टार्टअप को बढ़ावा दिया जाएगा। भारतीय अर्थव्यवस्था पहले के मुकाबले अब ज्यादा संगठित है और इससे डिजिटल पेमेंट में जबरदस्त उछाल आया है। देशी-विदेशी पर्यटकों को लुभाने के लिए देश में अपार क्षमताएं हैं। पर्यटन क्षेत्र में काफी क्षमता है, जिससे बड़े पैमाने पर युवााओं को रोजगार और एंटरप्रेन्योरशिप का मौका मिल सकता है। देश में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए मिशन मोड पर काम किया जाएगा। जिसमें राज्यों की भी सक्रिय भागीदारी रहेगी और सरकारी कार्यक्रमों और पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप के आधार पर काम किया जाएगा।
देश के 740 एकलव्य मॉडल स्कूलों में अगले तीन सालों में 38 हजार अध्यापकों और सहायक स्टाफ की नियुक्ति की जाएगी। इन स्कूलों में 3.5 लाख आदिवासी छात्र पढ़ाई करते हैं।
बच्चों के लिए एक नेशनल डिजिटल लाइब्रेरी बनाई जाएगी, जिसमें विभिन्न भाषाओं और क्षेत्र की बेहतरीन किताबों को शामिल किया जाएगा। राज्य सरकारों को पंचायत और वार्ड स्तर पर भी लाइब्रेरी खोलने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा।
बता दें कि पिछले बजट में सरकार ने नेशनल स्किल क्वालिफिकेशन फ्रेमवर्क के तहत इंडस्ट्री की जरूरत के हिसाब से युवाओं को ट्रेनिंग देकर उन्हें रोजगार देने का ऐलान किया था। डिजिटल यूनिवर्सिटी स्थापित करने का ऐलान किया गया था। युवाओं को ऑनलाइन स्किल, रीस्किल और अपस्किल बनाने के लिए DESH-Stack ई-पॉर्टल लॉन्च किया गया था। जिससे ट्रेनिंग लेकर युवा संबंधित नौकरी पा सकते हैं।
सरकार देश में स्टार्टअप कल्चर को काफी बढ़ावा दे रही है। इसके तहत 2022-23 के बजट में स्टार्टअप को तीन साल तक टैक्स में छूट का प्रावधान किया गया। वित्तीय बजट 2022-23 में खेल एवं युवा मामलों के मंत्रालय को 3062 करोड़ रुपए का आवंटन किया गया। राष्ट्रीय युवा सशक्तिकरण कार्यक्रम के तहत 138 करोड़, नेशनल सर्विस स्कीम के तहत 283 करोड़, नेशनल यूथ कॉर्प्स के तहत 75 करोड़ रुपए का आवंटन किया गया।
खेलो इंडिया योजना पर केंद्र सरकार का खासा फोकस है। यही वजह है कि पिछले बजट में सरकार ने इस योजना की मद में 974 करोड़ रुपए आवंटित किए थे। जम्मू कश्मीर और उत्तर पूर्वी राज्यों में खेलों को बढ़ावा देने के लिए केंद्र सरकार ने खासा फोकस किया। जम्मू कश्मीर में खेलों को बढ़ावा देने के लिए 50 करोड़ रुपए और उत्तर पूर्वी राज्यों के लिए 330 करोड़ रुपए का बजट रखा गया था।
केंद्र सरकार देश की आधी आबादी पर खासा फोकस कर रही है। यही वजह है कि इस बजट में ऐसी कई योजनाओं का ऐलान हो सकता है, जिससे महिलाओं को सशक्त बनाने में मदद मिलेगी। महिलाओं की शिक्षा और स्वास्थ्य के लिए सरकार बजट आवंटन को बढ़ा सकती है। साथ ही महिलाओं के लिए सरकार टैक्स में छूट, स्किल डेवलेपमेंट, कामकाजी महिलाओं के लिए क्रेच सुविधा और मातृत्व अवकाश का लेकर भी ऐलान कर सकती है।
आर्थिक जनगणना के अनुसार, देश में महिला उद्यमियों के स्वामित्व वाले प्रतिष्ठान करीब 14 फीसदी थे। ऐसे में सरकार बजट में महिला उद्यमियों के लिए कुछ बड़े ऐलान कर सकती है और भारतीय महिला बैंक बिजनेस लोन, देना शक्ति स्कीम, उद्योगिनी स्कीम आदि की तर्ज पर किसी नई योजना का ऐलान हो सकता है।
बता दें कि 2022-23 के बजट में महिला एवं बाल विकास मंत्रालय के लिए 25,172 करोड़ रुपए का आवंटन किया गया था। सरकार हर साल के बजट में इस मद में आवंटन की सीमा को बढ़ा रही है। महिला एवं बाल विकास विभाग के तहत कई योजनाएं शुरू की गईं, जिनमें मिशन शक्ति, मिशन वात्सल्य, सक्षम आंगनवाड़ी और मिशन पोषण 2.0 लॉन्च की गईं। सक्षम आंगनवाड़ी कार्यक्रम के तहत आंगनवाड़ी केंद्रों में इंफास्ट्रक्चर को बेहतर करने की योजना थी। योजना के तहत दो लाख आंगनवाड़ी केंद्रों को अपग्रेड किया गया।
सक्षम आंगनवाड़ी और पोषण 2.0 योजना के तहत आंगनवाड़ी सेवाएं, पोषण अभियान जैसी योजनाएं संचालित की जाती हैं। इसके लिए सरकार ने पिछले बजट में 20,263 करोड़ रुपए आवंटित किए। मिशन वात्सल्य के तहत बाल सुरक्षा से जुड़ी सेवाएं और बाल कल्याण सेवाएं शामिल हैं। इसके लिए सरकार ने 1472 करोड़ रुपए आवंटित किए।
मिशन शक्ति के तहत संबल योजना संचालित हो रही है, जिसमें महिलाओं के वन स्टॉप सेंटर्स, बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ, नारी अदालत, महिला पुलिस वॉलंटियर, महिला हेल्पलाइन, उज्जवला, विधवाओं के लिए घर आदि योजनाएं चल रही हैं। वहीं सामर्थ्य योजना के तहत उज्जवला योजना, स्वाधार गृह, वर्किंग वूमन हॉस्टल, प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना, नेशनल क्रेच योजना जैसी योजनाएं चल रही हैं। इस मद में सरकार ने पिछले बजट में 3184 करोड़ रुपए आवंटित किए थे।
वरिष्ठ नागरिकों के लिए बजट में आरबीआई के रेट सेविंग्स बॉन्ड्स 2020 की तर्ज पर किसी अन्य योजना का ऐलान हो सकता है, जिससे वरिष्ठ जनों की वार्षिक आय पर टैक्स में छूट की सुविधा मिल सकती है। इसके साथ ही टैक्स स्लैब में भी बुजुर्गों को सरकार थोड़ी छूट दे सकती है।
बता दें कि 2022-23 के बजट में सरकार ने 60 साल से ज्यादा उम्र के बुजुर्गों के लिए टैक्स स्लैब में छूट दी थी। जिसके तहत ढाई लाख रुपए तक की सालाना आय पर कोई टैक्स नहीं लगाया गया था। वहीं ढाई लाख से पांच लाख तक की आय पर 5 फीसदी टैक्स लगाया गया था। पांच लाख से साढ़े सात लाख तक 10 प्रतिशत और साढ़े सात लाख से दस लाख तक 15 प्रतिशत टैक्स लगाया गया। दस लाख से साढ़े बारह लाख तक की आय पर 20 फीसदी, साढ़े बारह लाख से पंद्रह लाख तक 25 फीसदी और पंद्रह लाख से ऊपर की आय पर 30 फीसदी टैक्स का प्रावधान किया गया था।
तीन लाख रुपए सालाना की आय पर कोई टैक्स नहीं लगाया गया था। वहीं तीन से पांच लाख तक की आय पर 5 प्रतिशत, पांच से साढ़े सात लाख तक 10 फीसदी टैक्स का प्रावधान किया गया था।
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