नई दिल्ली। पंजाब और हरियाणा के कुछ युवाओं ने सरकार से मदद की अपील की है। युवकों ने दावा किया है कि उन्हें धोखे से रूसी सैन्य सेवा में धकेल कर यूक्रेन युद्ध के मोर्चे पर भेज दिया गया। एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर जारी 105 सेकंड के वीडियो में सात लोग हुड या स्कल कैप के साथ सैन्य शैली की शीतकालीन जैकेट पहने हुए दिखाई दे रहे हैं। वे एक गंदे कमरे के अंदर खड़े हैं जिसके एक छोर पर एक बंद खिड़की है। उनमें से छह एक कोने में छिपे हुए हैं जबकि सातवां, हरियाणा के करनाल का 19 वर्षीय हर्ष, एक वीडियो संदेश रिकॉर्ड करता है जिसमें वह अपनी स्थिति बताता है और मदद मांगता है।
मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया गया है कि ये युवक पिछले साल दिसंबर में नया साल मनाने के लिए रूस गये थे। उनके पास रूस के लिए वीजा था। वीडा 90 दिन के लिए मान्य था। लेकिन ये लोग रूस की जगह बेलारूस पहुंच गये। रूस के जगह उनको एक दलाल बेलारूस ले गया। युवकों को यह पता नहीं था कि वहां के लिए वीजा की जरूरत होगी। बेलारूस लेजाकर दलाल गायब हो गया और युवकों को पुलिस ने पकड़ लिया। पकड़े जाने के बाद स्थानीय प्रशासन ने उनसे कई कागजों पर दस्तखत दराये और उनके सैन्य ट्रेनिंग के कहा गया और युद्ध के लिए दवाब बनाया।