पानीपत। हरियाणा में भूसे का संकट गहराता जा रहा है। चारा महंगा हो गया है। भूसे के संकट के बीच बार्डरों पर भी पहरा बढ़ा दिया गया है। ट्रैक्टर ट्रालियों की आवाजाही पर पैनी नजर रखी जा रही है। गोशालाओं को खरीदना मुश्किल हो गया है। जिला प्रशासन ने तूड़ी को बाहर के राज्य में बेचने पर रोक लगा दी है। सनौली से आगे हरियाणा-यूपी बार्डर पर पहरा बढ़ा दिया गया है। पुलिस का कहना है कि हरियाणा की तरफ से तूड़ा बाहर नहीं जा सकता। हरियाणा से उप्र जा रही ट्रालियों को वापस भेजा जा रहा है।
हरियाणा में पशुओं के लिए सूखे चारे के कमी की समस्या अब गहराती जा रही है । गेहूं की कम पैदावार और चारे की बढ़ती कीमतों को देखते हुए अब पशु चारा, राज्य से बाहर नहीं बेचा जा सकेगा। आदेशों की अवहेलना करने वालों के खिलाफ दंड प्रक्रिया की संहिता 1973 की धारा 144 के तहत कार्रवाई होगी।
हरियाणा में तूड़ी के दामों में लगातार बढ़ोतरी हो रही है। बीते दिनों गोशाला संचालकों की बैठक हुई थी जिसमें तूड़ी की बढ़ती कीमतों पर चिंता जाहिर की गई थी। साथ ही प्रशासन को भी अल्टीमेटम दिया गया था कि प्रशासन ने अगर तूड़ी के रेटों में कटौती नहीं की, तो मजबूरन गोशालाओं के प्रबंधकों के पद से इस्तीफा देकर गोशालाएं बंद करने पर मजबूर होना पड़ेगा।