मुजफ्फरनगर। गांव, गरीब और किसान को अपनी प्राथमिकता बताने वाली भारतीय जनता पार्टी ने लोकसभा चुनाव से पहले गांव और किसानों से संबंध की मजबूती के लिए जतन तेज कर दिए हैं। प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मिशन से ‘मिशन 2024’ को जोड़ते हुए भाजपा किसान मोर्चा ने ग्रामीण क्षेत्रों में पार्टी की जड़ें और गहरी करने के लिए कमर कसी है। इस अभियान के तहत प्रदेश के सभी छह क्षेत्रों में कार्यक्रम कर किसानों को जोड़ा जाएगा।
रासायनिक खेती के दुष्प्रभावों से खास तौर पर किसानों को आगाह करते हुए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने प्राकृतिक खेती के प्रोत्साहन को अपनी प्राथमिकता में शामिल किया है। जनता को जागरूक किया जा रहा है कि फसलों में रसायनों के उपयोग से कैंसर जैसी घातक बीमारियां हो रही हैं।
इधर, उत्तर प्रदेश में योगी आदित्यनाथ सरकार भी प्राकृतिक खेती को बढ़ावा दे रही है। गंगा किनारे के क्षेत्रों में प्राकृतिक खेती के लिए विशेष अभियान चलाया जा रहा है। अब इसके अभियान का बीड़ा भाजपा किसान मोर्चा ने भी उठा लिया है।
अव्वल तो उद्देश्य किसानों को रासायनिक खेती के दुष्प्रभावों के प्रति जागरूक करते हुए गो आधारित खेती को बढ़ावा देना ही है, इसके साथ ही इस अभियान के सहारे लोकसभा चुनाव से पहले किसानों को भाजपा से और मजबूती से जोड़ने का प्रयास होगा।
भाजपा किसान मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष कामेश्वर सिंह ने बताया कि सितंबर और अक्टूबर में सभी छह क्षेत्रों में प्राकृतिक खेती पर आधारित सेमिनार किए जाएंगे। पश्चिम क्षेत्र का सेमिनार मेरठ स्थित चौधरी चरण सिंह कृषि विवि में, कानपुर-बुंदेलखंड क्षेत्र का कार्यक्रम बांदा कृषि विवि में, अवध क्षेत्र का सेमिनार फैजाबाद स्थित नरेंद्र देव कृषि विवि में होगा।
इसी तरह गोरखपुर क्षेत्र के लिए बस्ती, काशी के लिए चुनार और ब्रज के लिए बरेली में कोई स्थान चुना जाएगा। इन सेमिनार में कृषि विशेषज्ञ, गो आधारित खेती करने वाले प्रगतिशील किसान और कैंसर विशेषज्ञ चिकित्सक भी आमंत्रित किए जाएंगे। वहीं, अक्टूबर में मुजफ्फरनगर में गंगा किनारे स्थित शुक्रताल से 20 हजार किसानों की पांच किलोमीटर की पदयात्रा निकाली जाएगी।
कामेश्वर सिंह ने बताया कि इन कार्यक्रमों में समय की उपलब्धता के अनुसार मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह चौधरी, भाजपा किसान मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजकुमार चाहर, कृषि मंत्री सूर्यप्रताप शाही और अन्य जनप्रतिनिधि शामिल रहेंगे।