पानीपत। निजी एंबुलेंस चालक मरीजों की सुरक्षा से खिलवाड़ करते पाए गए हैं। सिविल अस्पताल में खड़ी होने वाली नौ निजी एंबुलेंस मानकों पर खरी नहीं उतरी। कंडम एंबुलेंस को बिना प्राथमिक उपचार किट के सड़कों पर दौड़ते पाया गया। उपायुक्त सुशील सारवान के निर्देशों पर पहुंची डीटीओ की टीम ने अस्पताल में एंबुलेंस की जांच की है। पांच एंबुलेंसों पर मोटर व्हीकल एक्ट का उल्लंघन करने पर 42 हजार रुपये जुर्माना ठोका गया और तीन एंबुलेंस को इंपाउंड कर दिया गया है।
सिविल सर्जन डॉ. जितेंद्र कादियान ने पीएमओ डॉ. संजीव ग्रोवर को निर्देश दिए हैं कि निजी एंबुलेंस चालक अस्पताल परिसर में एंबुलेंस खड़ी न करें। अगर कोई निजी एंबुलेंस यहां मिलती है तो उस पर कार्रवाई सुनिश्चित करें। निजी एंबुलेंस चालकों की गुंडागर्दी और मनमानी की शिकायतें लगातार डीसी सुशील सारवान को मिल रही थी। उन्होंने डीटीओ डॉ. पूजा भारती को एंबुलेंसों की जांच के निर्देश दिए। डीटीओ डॉ. पूजा भारती की टीम सिविल अस्पताल पहुंची। जन सेवा दल कार्यालय के पास खड़ी सभी निजी एंबुलेंसों को एकाएक चैक करना शुरू किया।
पूरी कार्रवाई के दौरान कुल नौ एंबुलेंसों को चैक किया गया। चार एंबुलेंस नई थीं ये पूरी तरह फिट मिली। इनके सभी दस्तावेज भी पूरे थे। दूसरी पांचों एंबुलेंसों में कई तरह की खामियां मिली। तीन एंबुलेंसों की हालत जर्जर मिली। ये कंडम हालत में थी। इन्होंने रोड टैक्स भी नहीं भरा था। सुरक्षा के मद्देनजर तीनों एंबुलेंसों पर 13-13 हजार का जुर्माना कर तीनों को ही इंपाउंड कर दिया गया है। इसके अलावा एक एंबुलेंस में फर्स्ट एड किट नहीं मिली। इस पर एक हजार का जुर्माना लगाया गया। वहीं, एक एंबुलेंस में फर्स्ट एड एवं फायर सेफ्टी किट नहीं मिली, उस पर 2 हजार का जुर्माना किया गया। पांचों एंबुलेंसों पर 42 हजार का जुर्माना लगाया गया है।
सिविल अस्पताल में 13 निजी एंबुलेंस खड़ी होती है। ये बारी-बारी से अपना नंबर शवगृह के पास लगाते हैं। शवों को ले जाने के लिए परिजनों से मनमर्जी से पैसे लिए जाते हैं। सरकार के पास एंबुलेंसों का अभाव है इसका निजी एंबुलेंस चालकों को फायदा मिलता है। एंबुलेंस कंट्रोल रूम में कार्यरत कर्मचारी निजी एंबुलेंस चालकों के पास मरीजों को भेजते हैं। मरीजों को भेजने की एवज में निजी एंबुलेंस चालक कर्मचारियों को कमीशन भी देते हैं। ये खेल काफी समय से चल रहा है। पीएमओ डॉ. संजीव ग्रोवर को इस संबंध में शिकायतें भी मिल चुकी है।
होली के दिन निजी एंबुलेंस चालकों ने एक मरीज के साथ जमकर मारपीट की थी। इस संबंध में एक वीडियो भी वायरल हुई थी। डीसी सुशील सारवान ने सिविल सर्जन को इस संबंध में जांच के निर्देश भी दिए हैं।
सिविल अस्पताल परिसर में निजी एंबुलेंसों को खड़ा नहीं होने देंगे। अगर कोई एंबुलेंस खड़ी मिली तो कार्रवाई होगी। इस संबंध में निर्देश भी दिए गए हैं। स्वास्थ्य विभाग के पास मरीजों को स्वास्थ्य केंद्रों पर ले जाने व लाने के लिए पर्याप्त एंबुलेंस हैं।
-डॉ. जितेंद्र कादियान सिविल सर्जन, पानीपत।