नई दिल्ली। भारत में हर रोज लाखों लोग ट्रेन में सफर करते हैं. लोग बड़ी दूरी तय करने के लिए ज्यादातर ट्रेन में ही सफर करते हैं. भारतीय रेलवे भी लगातार लोगों को बेहतर सुविधाएं मुहैया कराने की कोशिश करता है. अगर आपने कभी ट्रेन में सफर किया है, तो आपको पता होगा कि ट्रेन में कई तरह के कोच होते हैं. एसी से लेकर जनरल कोच में लोग अपनी सुविधा और बजट के हिसाब से सफर करते हैं. लेकिन आपके मन मे कभी न कभी ये सवाल तो जरूर आया होगा कि सर्दियों में ट्रेन के एसी कोच का एयर कंडीशनर बंद रहता है तो रेलवे यात्रियों से AC का चार्ज क्यों लेता है? आइए बताते हैं.
आपको ये तो पता होगा कि ट्रेन में AC कोच का किराया स्लीपर और जनरल कोच से महंगा होता है. इसकी वजह कोच में लगे AC और अन्य सुविधाएं होती है. आपको बता दें कि ट्रेन के जो AC कोच होते है वातानुकूलित यानी कि होते है. ट्रेन के कोच यानी वातानुशीतलित नहीं होते है. इसका मतलब ये है कि ट्रेन के AC पूरे कोच को गर्मियों में ठंडा और सर्दियों में गर्म रखते हैं.
जब गर्मियों के मौसम में बाहर का तापमान 40 से 50 डिग्री सेल्सियस तक होता है, तब कोच के भीतर का तापमान 20-25 डिग्री रखा जाता है. वहीं सर्दियों के मौसम में इसके उलट बाहर का तापमान 0 डिग्री तक होता है, तब ट्रेन के कोच का तापमान 17–21 डिग्री तक रखा जाता है. इससे ट्रेन में सफर कर रहे यात्रियों को दोनों ही मौसम में सफर करने में काफी सुविधा होती है.
गर्मियों के मौसम में चल रहे एसी के बारे में तो आप जानते ही होंगे. लेकिन आप कभी सर्दियों के मौसम में ट्रेन के AC पर गौर करेंगे तो वहां आपको गर्माहट का अहसास होगा. दरअसल, ट्रेन में सर्दियों में AC में लगे हीटर को चलाया जाता है ओर जिसे ब्लोअर चला कर पूरे कोच में गर्म हवा को पहुचाया किया जाता है. ट्रेन में लगा हीटर खास तरह का होता है. इससे आपकी स्किन रूखी नहीं होती. जबकि घर में लगे हीटर स्किन की नमी को गायब कर देते हैं.