लखनऊ। उत्तर प्रदेश का दलित समुदाय अब तक पूरी मजबूती के साथ मायावती के साथ डटकर खड़ा रहा है। बसपा की खराब स्थिति में भी पार्टी ने 19-20 फीसदी के करीब वोट हासिल किया। माना यही गया कि दूसरे वर्गों के बसपा से दूर होने के बाद भी दलित समुदाय पूरी तरह उनके साथ खड़ा रहा।
इसमें भी जाटव समुदाय पूरी तरह मायावती के साथ नजर आया। जब प्रधानमंत्री मोदी ने अपनी कल्याणकारी योजनाओं के सहारे गैर जाटव दलित समुदाय में अपनी पैठ बनाई, तब गैर दलितों का एक बड़ा हिस्सा भाजपा के साथ चला गया। लेकिन इसके बाद भी जाटव समाज बसपा और मायावती को ही अपना नेता मानता रहा और उनके साथ बना रहा।
कांग्रेस के अध्यक्ष अजय राय गत मंगलवार को अपने पूर्व दलित नेता महावीर प्रसाद की पुण्यतिथि पर उनके पैतृक गांव गोरखपुर के उज्जरपार पहुंचे। दलित जाटव समाज से आने वाले पूर्व दिग्गज कांग्रेस नेता महावीर प्रसाद राजीव गांधी सरकार में केंद्रीय मंत्री और हरियाणा के राज्यपाल सहित कई बड़े पदों पर रह चुके थे।
वे उस समय कांग्रेस के महासचिव रहे जब पार्टी अखिल भारतीय स्तर पर केवल चार महासचिव बनाती थी। आज भी पूरे दलित समुदाय के साथ-साथ जाटव समाज में उनकी बहुत प्रतिष्ठा है। अजय राय ने पूर्व कांग्रेसी नेता को श्रद्धांजलि देने के अवसर पर कहा कि वे उन्हें (दलितों को) अपने साथ जोड़ने आए हैं। दलितों ने इस बीच कई दलों को देख लिया, लेकिन कोई भी उन्हें वह सम्मान और प्रतिष्ठा नहीं दे सका, जो कांग्रेस उन्हें देती आई है।
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