शामली। समाजवादी पार्टी ने जिले के कश्यप समाज के पूर्व विधायक किरणपाल कश्यप को लोकसभा चुनाव 2024 से पूर्व विधान परिषद सदस्य का प्रत्याशी घोषित कर पिछड़ा कार्ड खेला है। भाजपा के कश्यप वोट बैंक में सेंधमारी के उद्देश्य से किरणपाल कश्यप को प्रत्याशी बनाया है। मुजफ्फरनगर और शामली जिले में किरणपाल सिंह कश्यप सपा के वरिष्ठ नेता और कई बार सपा के जिलाध्यक्ष रह चुके हैं। वर्ष 2002 में थानाभवन विधानसभा सीट से पहली बार विधायक चुने गए थे।
2012 में थानाभवन विधानसभा सीट से भाजपा के सुरेश राणा से चुनाव हार जाने के बाद वह राजनीति में हाशिए पर चले गए थे। एक साल पहले सपा ने उन्हें राष्ट्रीय सचिव की जिम्मेदारी सौंपी। लोकसभा चुनाव से पहले भाजपा के वोट बैंक कहे जाने वाले कश्यप समाज के वोटों में सेंधमारी करने के उद्देश्य से सपा मुखिया अखिलेश यादव ने कश्यप समाज के नेताओं को विधान परिषद में भेजने का दांव खेला। कश्यप समाज के एमएलसी के लिए राजपाल कश्यप, सुधाकर कश्यप और किरणपाल सिंह कश्यप के नाम पर सपा के जिलाध्यक्षों से रिपोर्ट मांगी गई थी।
आखिर में पूर्व विधायक किरणपाल कश्यप के नाम पर अंतिम मुहर लगाकर उन्हें दो दिन पूर्व शनिवार को लखनऊ बुला लिया गया था। रविवार को मंथन करने के बाद सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने सोमवार को विधान परिषद सदस्य के रूप में शामली के किरणपाल कश्यप, बलराम यादव, गुडडू जमाली को सपा की ओर से नामांकन पत्र दाखिल करा दिया। माना जा रहा है कि सपा ने किरणपाल कश्यप को कैराना लोकसभा सीट पर सपा प्रत्याशी इकरा हसन को मुस्लिम मतों के साथ कश्यप वोट दिलाने के उद्देश्य से प्रत्याशी बनाया है। । गौरतलब तथ्य यह है कि कैराना लोकसभा सीट में कश्यप समाज के मतदाताओं की तादाद भारी संख्या में है।चुनाव में निर्णायक भूमिका निभाते हैं।