नोएडा। यूपी पुलिस आरक्षी भर्ती की लिखित परीक्षा का प्रश्नपत्र लीक करने के मास्टर माइंड राजीव नयन मिश्रा को स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) ने मंगलवार को थाना नॉलेज पार्क क्षेत्र में परी चौक के पास से गिरफ्तार कर लिया। विशेष कार्य बल (एसटीएफ) की पूछताछ में सिपाही भर्ती परीक्षा के पेपर लीक के मास्टरमाइंड राजीव नयन मिश्रा ने कई अहम खुलासे किए हैं। अपने 14 साल पुराने साथी अतुल वत्स के जरिये उसने गौमतबुद्ध नगर के गिरोह के बदमाशों को जोड़कर वारदात को अंजाम दिया था।
गौतमबुद्ध नगर निवासी रवि अत्री समेत अन्य के साथ मिलकर उसने यहीं सिपाही भर्ती परीक्षा के पेपर लीक की साजिश रची थी। एसटीएफ पूछताछ में पता चला है कि माता-पिता की मौत के बाद राजीव ने मामा के पास रहकर पढ़ाई पूरी की थी। वर्ष 2010 में वह बीटेक करने भोपाल चला गया। वहां उसकी मुलाकात बिहार के मधुबनी निवासी सुभाष प्रकाश और अतुल वत्स से हुई थी। दोनों भोपाल के अलग-अलग कालेजों में पैसे लेकर एडमिशन दिलाते थे। राजीव भी दोनों के साथ गिरोह में शामिल हो गया।
करीब 14 साल बाद सिपाही भर्ती परीक्षा के पेपर लीक को अंजाम देने के लिए अतुल वत्स ने राजीव नयन मिश्रा की मुलाकात डॉ. शरद से कराई थी। शरद पेपर लीक गिरोह चलाता था। गौतमबुद्ध नगर निवासी रवि अत्री भी उससे जुड़ा था। शरद के माध्यम से राजीव की मुलाकात रवि अत्री से हुई।
रवि और राजीव ने मिलकर सिपाही भर्ती परीक्षा का पेपर लीक की साजिश रची थी। जांच में पता चला है कि दोनों आरोपी झांसी और गौतमबुद्ध नगर जेल में साथ बंद रह चुके हैं। एसटीएफ पूछताछ में राजीव ने बताया कि झांसी में बंद मोनू गुर्जर व रजनीश रंजन और गौतमबुद्ध नगर जेल में बंद मोनू पंडित, गौरव व प्रमोद पाठक उसके परिचित हैं। सभी मिलकर प्रतियोगी परीक्षाओं में धांधली कर भर्ती कराते थे।
एसटीएफ पूछताछ में पता चला है कि आरोपी पेपर लीक कराने के बाद पैसे लेकर परीक्षार्थियों को पढ़ाते थे। राजीव ने गिरोह के बदमाशों के साथ मिलकर मध्य प्रदेश के रीवा के शिव महाशक्ति रिसोर्ट में लगभग 300 परीक्षार्थियों को पेपर पढ़ाया था। वहीं राजीव ने रवि अत्री और विक्रम पहल उर्फ हवलदार व गैंग के अन्य बदमाशों के साथ गुरुग्राम के ग्रीनवैली रिसोर्ट में काफी अभ्यार्थियों को पेपर पढ़ाया था।
वर्ष 2019 में राजीव की मुलाकात भोपाल निवासी तरुणेश अजारिया उर्फ गुरुजी से हुई थी। तरुणेश पैसे लेकर पेपर लीक करने और भर्ती कराने का गिरोह चलाता था। राजीव ने तरुणेश के साथ मिलकर भोपाल के राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत नर्सिंग स्टाफ की भर्ती का पेपर लीक कराया। मामले में राजीव और तरुणेश के खिलाफ ग्वालियर में मुकदमा दर्ज हुआ था। इसमें दोनों जेल गए थे।
उत्तर प्रदेश पुलिस सिपाही भर्ती परीक्षा का पेपर फरवरी में लीक हुआ था। मामले की जांच एसटीएफ को सौंपी गई थी। जांच में अहमदाबाद स्थित टीसीआई ट्रांसपोर्ट कंपनी से पांच और आठ मार्च को पेपर लीक होने की बात सामने आई थी। एसटीएफ इस मामले में 15 मुकदमे दर्ज कर 54 आरोपियों को जेल भेज चुकी है। मुख्य आरोपी रवि अत्री और राजीव नयन मिश्रा फरार थे। राजीव को गिरफ्तार कर लिया गया।