मेरठ. करीब छह वर्ष बाद सर्किल रेट में वृद्धि की प्रक्रिया के बीच प्रस्तावित दरों को लेकर प्रशासन की ओर से मांगी गई आपत्तियों और सुझाव को लेकर तीन सप्ताह बाद भी कोई निर्णय नहीं हो सका है। अधिकारियों के पास करीब तीन दर्जन आपत्तियां विचाराधीन है, जिनमें सर्किल रेट 20 से 40 फीसदी तक बढ़ाने को लेकर आपत्तिकर्ताओं ने सर्किल रेट में 10 से लेकर 20 प्रतिशत की वृद्धि करने का अनुरोध जिलाधिकारी से किया है। इस बीच इस बात की प्रबल संभावना है कि 30 अगस्त तक आपत्तियों का निस्तारण करके एक सितंबर से नए सर्किल रेट लागू किए जा सकते हैं।

सहायक आयुक्त स्टांप वीके तिवारी ने बताया कि मेरठ जिले में पिछली बार संशोधित सर्किल रेट 2016 में लागू किए गए थे। तब से लेकर आज तक इनमें कोई परिवर्तन नहीं किया गया है। इस वर्ष सर्किल रेट में संशोधन के लिए दिए गए जिलाधिकारी के आदेश के अनुपालन में सब रजिस्ट्रार और तहसील स्तरीय टीम ने शहरी और ग्रामीण क्षेत्र की भूमि के बाजार भाव को आधार बनाते हुए 20 से 40 प्रतिशत तक की वृद्धि प्रस्तावित की है।

इन प्रस्तावित दरों को लेकर डीएम दीपक मीणा ने आपत्ति और सुझाव के लिए आठ अगस्त की तिथि निर्धारित की थी, जिसमें करीब तीन दर्जन आपत्तियां विभाग के पास पहुंची है। वीके तिवारी ने बताया कि विभिन्न स्तर से प्राप्त होने वाली आपत्तियों में गांव और शहरी क्षेत्र की भूमि की दरों में स्थानीय बाजार मूल्य की बाबत गहनता से छानबीन कराने की मांग की गई है। साथ ही सुझाव दिया गया है कि सर्किल रेट में क्षेत्रवार अधिकतम 10 प्रतिशत से लेकर 20 प्रतिशत की वृद्धि की जाए।

उन्होंने बताया कि 30 अगस्त को डीएम स्तर पर होने वाली बैठक में सभी आपत्तियों का निस्तारण करके एक सितंबर से नए सर्किल रेट लागू होना लगभग फाइनल माना जा रहा है।