मेरठ। सोने की तस्करी के मामले में सलमान को लिसाड़ी गेट थाने के एक कमरे में अवैध हिरासत में रखकर यातनाएं देने और 8 लाख वसूलने के आरोप में तीन पुलिसकर्मियों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज हुई है। दरोगा महेंद्र, सिपाही हेड कांस्टेबल विकास और कांस्टेबल ओमबीर को एसएसपी ने निलंबित कर दिया है। पीड़ित सलमान की तहरीर पर मामला दर्ज किया गया है और एसपी सिटी आयुष विक्रम सिंह की रिपोर्ट पर कार्रवाई हुई है।
लोहियानगर थाने के अहमदनगर निवासी सलमान पर आरोप लगा था कि वह सऊदी अरब से सोने की तस्करी करता है। इसके बाद सूचना फैली कि उसने दुबई से तस्करी का करीब 20 लाख रुपये का सोना मंगाया था। एयरपोर्ट पर सोने की डिलीवरी लेने के लिए उसने अहमदनगर निवासी समीर को भेजा था। समीर एयरपोर्ट से सोना लेकर फरार हो गया। सोना वापस लेने के लिए सलमान ने समीर के परिवार पर दबाव बनाया। पंचायत में तय हुआ कि समीर का भाई शाहिद सलमान को नौ लाख रुपये देगा। तीन लाख रुपये सलमान को दे दिए गए। छह लाख रुपये किस्तों में देने की बात तय हुई।
इसकी जानकारी लिसाड़ीगेट थाने में तैनात दरोगा महेंद्र, सिपाही हेड कांस्टेबल विकास और कांस्टेबल ओमवीर को मुखबिर से मिल गई। तीनों पुलिसकर्मी 30 अक्तूबर को शाहिद को थाने ले आए। आरोप है कि 31 अक्तूबर की रात दो लाख रुपये वसूल कर शाहिद को छोड़ दिया। मंगलवार सुबह तीनों पुलिसकर्मियों ने सलमान को उसके घर से उठा लिया। थाना परिसर में एक निजी कमरे में अवैध हिरासत में रखकर जमकर पिटाई की। व्हाट्सएप कॉल पर समीर से बात कराई। सलमान से कहलवाया गया कि समीर के भाई शाहिद से वह अब छह लाख रुपये नहीं लेगा। मामले में पुलिसकर्मियों पर आठ लाख की वसूली का आरोप लगा।
सलमान के परिजन एसपी सिटी आयुष विक्रम सिंह के पास पहुंचे और पूरे प्रकरण की जानकारी दी। इसके बाद सलमान को थाने से छोड़ा गया। थाने से बाहर आने पर सलमान ने शरीर पर चोट के निशान दिखाते हुए वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया था।
थाने में दर्ज कराई रिपोर्ट में सलमान ने बताया कि 12 नवंबर को लिसाड़ी गेट थाने में तैनात दरोगा महेंद्र, सिपाही हेड कांस्टेबल विकास और कांस्टेबल ने उसे अवैध हिरासत में थाने की ऊपरी मंजिल पर रखा और मारपीट की। उससे सोना तस्करी करने वालों के बारे में पूछ रहे थे। लेकिन सलमान को उनकी कोई जानकारी नहीं थी।
लिसाड़ी गेट थाने की छत पर बने पुलिस क्वार्टर में भूरा नाम का बाहरी युवक रह रहा था। आरोप है कि भूरा पुलिस के लिए वसूली करता है। अवैध हिरासत में लिए गए लोगों को उसके कमरे में रखा जाता था। शाहिद और सलमान को भी इसी कमरे में रखा गया था। एसएसआई ने भूरा के सरकारी क्वार्टर में रहने का विरोध भी किया था। जिसके बाद उनकी थाना प्रभारी से कहासुनी भी हो गई थी। सलमान का मामला सामने आने पर भूरा फरार हो गया। इस मामले में पुलिस अधिकारी अभी कुछ भी बोलने से बच रहे हैं और जांच की बात कह रहे हैं।
तीनों पुलिसकर्मियों के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज कर निलंबित कर दिया है। एसपी सिटी की जांच रिपोर्ट पर कार्रवाई की गई है। अभी मामले में जांच जारी है। – डॉ. विपिन ताडा, एसएसपी