भारत रिकॉर्ड 10वीं बार अंडर-19 विश्व कप के सेमीफाइनल में पहुंचा है. एक दिन पहले हुए क्वार्टर फाइनल में भारत ने बांग्लादेश को 5 विकेट से हराया. इस मैच में बांग्लादेश की टीम पहले बल्लेबाजी करते हुए 111 रन पर ढेर हो गई थी. इसमें बाएं हाथ के तेज गेंदबाज रवि कुमार का रोल अहम रहा. उन्होंने मैच में 3 बांग्लादेश बल्लेबाजों को पवेलियन की राह दिखाई. रवि के पिता सीआरपीएफ में हैं और उन्होंने पूर्व भारतीय ओपनर देवांग गांधी की देखरेख में ट्रेनिंग की है. जिस तरह वो गेंद को अंदर और बाहर दोनों तरफ स्विंग कराते हैं. ऐसे में यही उम्मीद है कि वो जहीर खान और इरफान पठान के बाद भारत के बाएं हाथ के गेंदबाज की तलाश पूरी कर सकते हैं.

भारत ने अंडर-19 विश्व कप के क्वार्टर फाइनल में बांग्लादेश को हराकर सेमीफाइनल में जगह बना ली है. इस जीत के साथ ही भारत ने 2 साल पहले बांग्लादेश के हाथों अंडर-19 वर्ल्ड कप में मिली हार का हिसाब भी चुकता कर लिया. भारत की इस जीत के हीरो रहे बाएं हाथ के स्विंग गेंदबाज रवि कुमार. उन्होंने बांग्लादेश को 111 रन पर समेटने में अहम भूमिका निभाई. रवि ने 7 ओवर में 14 रन देकर 3 विकेट झटके. उन्हें इस प्रदर्शन के लिए मैन ऑफ द मैच चुना गया.

रवि के पिता सीआरपीएफ में हैं. उनका जन्म 29 अक्टूबर 2003 को कोलकाता में हुआ था. हालांकि, बाद में उनका परिवार उत्तर प्रदेश चला आया, जहां उन्होंने टेनिस बॉल क्रिकेट खेलना शुरू किया. रवि के बचपन के कोच रवि भारद्वाज ने उन्हें खेल की बारीकियां सिखाईं. इसके बाद यह बाएं हाथ का गेंदबाज बंगाल की तरफ से अपनी किस्मत आजमाने के लिए कोलकाता चला आया.

रवि कुमार 2019 में बालीगुंज यूनाइटेड क्रिकेट क्लब के लिए अंडर 16 के ट्रायल देने आए थे. तब क्रिकेट एसोसिएशन ऑफ बंगाल (CAB) के अधिकारियों ने उनकों मौका नहीं दिया था. क्योंकि वह उम्र का पता लगाने वाले टेस्ट में फेल हो गए थे. हालांकि, इसके बाद कंचनजंग वॉरियर्स की ओर से उन्होंने कैब टी20 लीग में हिस्सा लिया और बंगाल की अंडर 19 टीम में जगह बनाई.

पिछले कुछ सालों से रवि कुमार पूर्व भारतीय सलामी बल्लेबाज और बंगाल की अंडर-19 टीम के कोच देवांग गांधी की देखरेख में ट्रेनिंग कर रहे हैं. इससे उनके खेल में काफी निखार आया है. रवि की सबसे बड़ी खासिय़त यह है कि वो गेंद को अंदर और बाहर दोनों तरफ स्विंग कराते हैं. ऊंचा कद होने के कारण उन्हें अतिरिक्त उछाल भी मिलता है और नई गेंद से वो विकेट चटकाने में माहिर हैं.

रवि ने वेस्टइंडीज में चल रहे अंडर-19 विश्व कप में अब तक अच्छी गेंदबाजी की है. उन्होंने बांग्लादेश के खिलाफ क्वार्टर फाइनल मुकाबले में 3 विकेट लेने से पहले आयरलैंड के खिलाफ 11 रन देकर 1 विकेट लिया था. इससे पहले, उन्होंने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ वॉर्म अप मैच में घातक गेंदबाजी की थी. उन्होंने इस मुकाबले में 34 रन देकर 4 विकेट लिए थे. वो टूर्नामेंट में अपने कोटे के 10 ओवर भी पूरे नहीं कर पाए रहे हैं. क्योंकि विपक्षी टीम भारत के खिलाफ पूरे 50 ओवर नहीं टिक पा रही है. रवि ने अंडर-19 एशिया कप में भी 4 विकेट लिए थे.

जहीर खान, इरफान पठान और आशीष नेहरा के संन्यास के बाद से ही भारतीय टीम की लेफ्ट आर्म तेज गेंदबाज की तलाश अब तक पूरी नहीं हुई है. 2016 अंडर-19 वर्ल्ड कप से निकले खलील अहमद ने जरूर कुछ उम्मीदें जगाई थी. लेकिन वो कुछ मैच के बाद टीम से बाहर हो गई. टी नटराजन ने भी अच्छी शुरुआत की थी. लेकिन चोट के कारण वो टीम से लगातार अंदर-बाहर हो रहे हैं. ऐसे में रवि कुमार से बड़ी उम्मीदें हैं और सवाल यही उठता है कि क्या वो टीम इंडिया के बाएं हाथ के तेज गेंदबाज की तलाश पूरी कर देंगे?