लखनऊ. उत्तर प्रदेश में गन्ना किसानों की समस्या काफी पुरानी है। गन्ना किसान भुग्तान ना होने की वजह से हमेशा परेशान रहता है। बीते पांच सालों में गन्ना किसान को समय से गन्ना भग्तान नहीं हुआ। इसको लेकर विधानसभा चुनाव 2022 में विपक्ष ने सरकार पर जमकर हमला भी बोला। योगी 2.0 सरकार के गठन के बाद अब गन्ना किसानों के भुग्तान किए जाने की बात कही गई है। सौ दिन की कार्ययोजना में गन्ना किसानों को आठ हजार करोड़ रुपये का भुगतान किया जाएगा।
75 प्रतिशत हो चुका है भुगतान
अपर मुख्य सचिव संजय आर भूसरेड्डी के मुताबिक गन्ना किसानों को पिछले बकाए का शत प्रतिशत भुगतान हो चुका है और हाल का भी 75 प्रतिशत भुगतान हो चुका है। प्रदेश के 46 लाख गन्ना किसानों को यूनीक ग्रोअर कोड (यूजीसी) जारी होगा। इससे बिचौलियों का सफाया होगा और किसानों को समय से गन्ना आपूर्ति करने में आसानी होगी। गन्ना विभाग ने इसका जिक्र अपनी सौ दिन की कार्ययोजना में किया है।
168 गन्ना सहकारी विकास समितियों एवं 152 गन्ना परिषदों की ऑनलाइन कंप्यूटराज्ड बैलेंस शीट तैयार कराई जाएगी। समितियों के पांच लाख अंशधारक किसानों को प्रमाणपत्रों का वितरण होगा। बता दें कि प्रदेश में 46.5 लाख किसान लगभग 25.7 लाख हेक्टेयर में गन्ने की खेती करते हैं। सौ दिन की कार्ययोजना में इन किसानों का डिजिटल सर्वेक्षण कर उनको यूजीसी जारी किया जाएगा। वहीं, गन्ने की उत्पादकता बढ़ाने व लागत घटाने के लिए नौ सूत्री कार्यक्रम चलाया जाएगा।
15 हजार किसानों को प्रशिक्षण दिया जाएगा, जिससे वे उन्नत खेती कर सकें और ज्यादा मुनाफा कमाएं। इसके अलावा लगभग एक लाख हेक्टेयर फसल में तरल नैनो यूरिया का छिड़काव कराया जाएगा। इससे उत्पादन लागत में कमी और पर्यावरण में शुद्धता आएगी।