मेरठ. सिवाया टोल प्लाजा पर रविवार को बेरोजगार युवकों ने रोजगार की मांग करते हुए हंगामा शुरू कर दिया। इसी बीच मेघालय के राज्यपाल का काफिला आने की सूचना मिली तो पुलिस में हड़कंप मच गया। आनन-फानन में टोल पर पहुंची दौराला पुलिस ने लाठियां दिखाते हुए युवकों को भगाया। राज्यपाल का काफिला गुजर जाने पर पुलिस ने राहत की सांस ली।

रविवार को दिल्ली से हरिद्वार की ओर मेघालय के राज्यपाल सत्यपाल मलिक का काफिला जा रहा था। उनके आने से कुछ देर पहले ही बेरोजगार युवकों ने रोजगार की मांग करते हुए सिवाया टोल पर हंगामा शुरू करते हुए टोल फ्री करा दिया। टोल फ्री होने के दौरान टोलकर्मियों ने टोल अधिकारियों को मामले की जानकारी दी। इसी बीच टोल अधिकारी युवकों के बीच पहुंचे और वार्ता का प्रयास किया। लेकिन, वह रोजगार की मांग करते हुए हंगामा करते रहे। अधिकारियों ने पुलिस को सूचना दी। जिस पर पुलिस टोल पर पहुंची। पुलिस को राज्यपाल सत्यपाल मलिक के काफिला आने की सूचना मिली। जिस पर पुलिस में हड़कंप मच गया।

पुलिस ने युवकों को मेघालय के राज्यपाल सत्यपाल मलिक के आने की सूचना दी और वहां से हटने की बात कहीं। युवकों के न मानने पर पुलिस ने युवकों को लाठी दिखाते हुए भगाना शुरू कर दिया। लाठीचार्ज के डर से युवकों में भगदड़ मच गई और वह भाग खड़े हुए। राज्यपाल सत्यपाल मलिक का काफिल गुजर जाने के बाद पुलिस ने राहत की सांस ली। टोल अधिकारियों ने उनके काफिले को गुजारने के लिए एक लाइन खाली करा दी थी। थाना प्रभारी रमाकांत पचौरी का कहना है कि युवक रोजगार की मांग को लेकर हंगामा कर रहे थे। राज्यपाल के आने की सूचना भी दी गई। लेकिन, युवक नहीं हटे। जिस पर लाठी दिखाकर उन्हें भगाना पड़ा।

तिरंगा लेकर पहुंचे युवा
रोजगार की मांग को लेकर सैकड़ों की तादात में टोल पर पहुंचे बेरोजगार युवक हाथों में तिरंगा लेकर पहुंचे। युवकों ने भारत माता की जय के नारे लगाए और केंद्र व राज्य सरकार पर जमकर निशाना साधा। युवकों का कहना था कि केंद्र सरकार व राज्य सरकार लगातार युवकों को रोजगार देने की बात कह रही है। लेकिन, रोजगार तो मिला नहीं बल्कि बेरोजगारी में महंगाई मार जरुर झेलनी पड़ रही है। हंगामें के दौरान यातायात भी अवरूद्घ रहा। जिस कारण वाहन चालकों को दिक्कतों का सामना करना पड़ा। पुलिस के लाठी दिखाने के बाद युवक भाग खड़े हुए। जिसके बाद पुलिस ने यातायात दोबारा से सुचारू कराया।