नोएडा। समाजवादी पार्टी का गढ़ मानी जाने वाली रामपुर और आजमगढ़ लोकसभा सीट पर हार के बाद अखिलेश यादव को अब पश्चिमी उत्तर प्रदेश में करारा झटका लगा है। फेडरेशन आफ नोएडा रेजिडेंट्स वेलफेयर एसोसिएशन के अध्यक्ष योगेंद्र शर्मा ने समाजवादी पार्टी से इस्तीफा दे दिया है।

नोएडा सीट से विधानसभा चुनाव में सपा के प्रत्याशी की हार के बाद दूसरी बार पार्टी को बड़ा झटका लगा है। पिछले वर्ष दिसंबर में विधानसभा चुनाव के लिए टिकट की दावेदारी करने वाले फोनरवा अध्यक्ष योगेंद्र शर्मा को लखनऊ में सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने पार्टी की सदस्यता दिलाई थी। शहर के 130 आरडब्ल्यूए फोनरवा से जुड़ी हुई हैं। शहरी वोटरों में इसका प्रभाव बड़ी संख्या में है।

पार्टी से इस्तीफा देते हुए फोनरवा अध्यक्ष योगेंद्र शर्मा ने निजी कारणों से इस्तीफा देने की बात की है। भाजपा की सदस्यता लेने के सवाल पर योगेंद्र शर्मा ने कहा कि फिलहाल फोनरवा व उनकी सदस्य आरडब्ल्यूए के माध्यम से शहर में सेवा कार्य करेंगे। मामले में योगेंद्र शर्मा ने अपना इस्तीफा सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव को भी भेज दिया है। इसके बाद सपा सहित भाजपा के कई नेताओं ने योगेंद्र शर्मा से संपर्क किया है।

फोनरवा अध्यक्ष के इस्तीफे के बाद इंटरनेट मीडिया पर प्रतिक्रिया का दौर चल रहा है। इसमें विधानसभा चुनाव में टिकट नहीं मिलने का कारण कई लोग बता रहे हैं। योगेंद्र शर्मा के समर्थक उनके फैसले की सराहना कर रहे हैं।

योगेद्र शर्मा ने अखिलेश यादव को लिखे पत्र में इस्तीफे के पीछे निजी कारणों का हवाला दिया है। उन्होंनें पत्र में लिखा, ” विधानसभा चुनाव से पहले मैंने समाजवादी पार्टी की सदस्यता ग्रहण की थी। लेकिन अब मैं अपने निजी कारणों से पार्टी की सदस्यता से त्यागपत्र दे रहा हूं।”

इससे पहले, बुधवार को सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने गोरखपुर में एक सड़क पर हुए जलजमाव को लेकर सीएम योगी आदित्यनाथ पर तंज कसा था। उन्होंने जलजमाव का एक वीडियो ट्वीट कर प्रदेश की भारतीय जनता पार्टी सरकार पर हमला करते हुए कहा था कि भाजपा ने हर घर नल की जगह हर घर जल पहुंचा दिया है। उन्होंने भाजपा सरकार पर भ्रष्टाचार का आरोप लगाते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश में भ्रष्टाचार का नाला लबालब है।