मेरठ. मेरठ के परतापुर थाना क्षेत्र में जमीनी रंजिश के चलते एक युवक ने अपने चाचा की बलकटी से गला रेत कर हत्या कर दी। मंगलवार को अधेड़ की लाश जंगल से बरामद होने के बाद पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए आरोपी को गिरफ्तार कर लिया और आरोपी से हत्या में प्रयुक्त बलकटी बरामद कर ली गई। हत्या के बाद बाइक से भाग रहे युवक की बाइक गिर गई जिसमें उसके पैर में फ्रेक्चर आ गया। मृतक की बहन ने अपने भांजे सहित उसकी पत्नी और मां के खिलाफ हत्या की तहरीर दी थी। पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है। आगे जानें कैसे जमीन के लिए युवक ने चाचा को दी खौफनाक मौत।
मूल रूप से परतापुर के एकला गांव में रहने वाले 55 वर्षीय देवेंद्र सिंह पिछले काफी समय से दिल्ली के संगम विहार में रहने वाली अपनी बहन विमला के घर पर रहते थे। विमला के मुताबिक रविवार को देवेंद्र अपने गांव जाने की बात कह कर विमला के घर से रवाना हुए थे। रात 2 बजे तक विमला देवेंद्र के मोबाइल पर कॉल ट्राई करती रही, लेकिन देवेंद्र का मोबाइल स्विच ऑफ आ रहा था।
सोमवार की सुबह तक भी देवेंद्र का मोबाइल ऑन न होने पर विमला अपने परिवार के साथ मेरठ पहुंची और परतापुर थाने में अपने भतीजे मोहित व उसके परिजनों पर भाई की हत्या का शक जताते हुए देवेंद्र की गुमशुदगी की तहरीर दी थी। जिसके बाद पुलिस मामले की जांच में जुटी थी। इसी दौरान मंगलवार सुबह देवेंद्र का खून से लथपथ शव छज्जूपुर गांव के जंगल में बरामद हो गया। देवेंद्र के सीने पर पेंचकस से ताबड़तोड़ हमला करने के बाद उसकी गला रेत कर हत्या की गई थी।
पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजते हुए आरोपी मोहित को गिरफ्तार कर लिया। वहीं, मृतक की बहन ने अपने भतीजे देवेंद्र और उसकी पत्नी आशा सहित भाभी राजेंद्री के खिलाफ हत्या की तहरीर दी थी। विमला का कहना है कि उसके भाई को अपने भतीजे से 8 बीघा जमीन को हड़पने को लेकर जान से मारने की धमकियां मिल रहीं थी, जिसको लेकर काफी समय से विवाद चल रहा था। परतापुर क्राइम इंस्पेक्टर बीके बिसारे का कहना है कि आरोपी से पूछताछ के बाद घटना मे प्रयुक्त बलकटी व पेंचकस पुलिस ने बरामद कर लिया। पूछताछ में आरोपी ने पुलिस को पूरी वारदात का सच उगल दिया।
पुलिस की पूछताछ में हत्यारोपी मोहित ने बताया कि चाचा देवेंद्र अविवाहित थे। नौ बीघा जमीन के लालच में हम 25 साल से चाचा की खातिरदारी कर रहे थे और अब वह बुआ विमला को अपना हिस्सा देने चले थे। इसको बर्दाश्त नहीं कर सका। इसी बात पर तीन दिन पहले घर में झगड़ा हुआ था। मैंने पहले चाचा के पेट में पेंचकस घोंप दिया, फिर बलकटी से गर्दन काट दी। मुझे कोई पछतावा नहीं है।
देवेंद्र के साथ अनहोनी की आशंका ग्रामीणों को भी थी। देवेंद्र गांव के लोगों से कहता था कि वह अपने हिस्से की जमीन विमला को देगा और फिर उसके साथ दिल्ली चला जाएगा। इसको लेकर देवेंद्र का अपने भतीजे और भाई महक से कई बार विवाद हुआ। मां किरनो की मौत के बाद विवाद बढ़ गया। रविवार रात में देवेंद्र का भतीजे के साथ झगड़ा हुआ था। उसके बाद परिवार के लोग खामोश हो गए। सुबह देवेंद्र दिखाई नहीं दिया। इस पर ग्रामीणों को अनहोनी का शक हुआ। एक पड़ोसी ने इसकी जानकारी विमला को फोन पर दी। विमला सोमवार को एकला गांव आई और पुलिस से शिकायत की।
बुआ के गांव आने की सूचना पर मोहित अपने चाचा महक की बुलेट लेकर घर से निकल गया। मोहित पहले अपने ट्यूबवेल पर पहुंचा। जंगल में बाइक फिसलने से उसके पैर में फ्रैक्चर आ गया। वह मोहिउद्दीनपुर इलाज कराने गया। उसके बाद अपने दोस्त के पास गेझा चला गया। मंगलवार को वह गेझा से मोहिउद्दीनपुर जा रहा था, तभी पुलिस ने उसे पकड़ लिया।
दो माह पहले देवेंद्र की मां किरनो की मौत हो गई थी। इसके बाद परिवार में विवाद बढ़ गया। देवेंद्र रोजाना अपने हिस्से की जमीन विमला को देने की बात करता था। यह बात मोहित को गंवारा नहीं हुई। उसने कई बार चाचा महक से कहा कि देवेंद्र को समझा लो, अन्यथा वो उनकी हत्या कर देगा।
आरोपी भतीजे मोहित को पुलिस ने कोर्ट में पेश कर न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया। पुलिस ने नामजद महक सिंह सहित तीन अन्य आरोपियों की तलाश में कई जगह पर दबिश दी लेकिन वह हाथ नहीं आए। पुलिस का कहना कि जेल जाने से पहले मोहित ने कहा कि चाचा को तो मरना ही था।
सीओ ब्रह्मपुरी बृजेश सिंह के मुताबिक, रविवार को मोहित ने नौ बीघा जमीन के लिए चाचा देवेंद्र सिंह की हत्या कर दी। पहले पेट में पेंचकस घोंपा, उसके बाद गर्दन काट दी। पूछताछ में हत्यारोपी मोहित ने बताया कि चाचा शादीशुदा बुआ विमला को अपनी जमीन देना चाहते थे। कई बार उन्हें समझाया, लेकिन वह नहीं माने। इसलिए चाचा को तो मरना ही था।
आरोपी ने बताया कि दो महीने पहले दादी किरनो की मौत हो गई थी। इसके बाद से चाचा बार-बार अपने हिस्से की जमीन बुआ को देने की बात कहते थे। मोहित व परिवार के अन्य लोगों ने प्लान बनाया कि देवेंद्र से जमीन की रजिस्ट्री करा लेते थे। लेकिन देवेंद्र तैयार नहीं हुए। इसके बाद परिवार ने देवेंद्र की हत्या की योजना बनाई। परिवार की मौजूदगी में मोहित ने देवेंद्र की हत्या की।