एशियाई बाजारों के सकारात्मक रुख के बीच बुधवार को सेंसेक्स करीब ढाई महीने बाद 51,000 के पार पहुंचकर बंद हुआ। निफ्टी भी लगातार चौथे दिन बढ़त के साथ 15,300 के मनोवैज्ञानिक स्तर को पार कर गया।
वित्तीय, वाहन, रियल एस्टेट और आईटी कंपनियों के शेयरों में तेजी से सेंसेक्स 379.99 अंक उछलकर 51,017.52 पर बंद हुआ। इससे पहले 10 मार्च 2021 को सेंसेक्स 51,279.51 पर बंद हुआ था। निफ्टी भी 93 अंकों की उछाल के साथ 15,301.45 पर बंद हुआ।
सेंसेक्स की 30 में से 23 कंपनियों के शेयर हरे निशान में बंद हुए, जबकि सात कंपनियों के शेयर नुकसान में रहे। बजाज फिनसर्व सर्वाधिक 4.82 फीसदी लाभ में रहा। बजाज फाइनेंस, इन्फोसिस, महिंद्रा एंड महिंद्रा, मारुति और एचडीएफसी आदि भी लाभ में रहे।
हालांकि, पॉवरग्रिड, एनटीपीसी, ओएनजीसी, एयरटेल, डॉ. रेड्डीज और कोटक बैंक नुकसान में रहे। रिलायंस सिक्योरिटीज के प्रमुख (रणनीति) विनोद मोदी ने कहा कि 2021-22 की दूसरी तिमाही से अर्थव्यवस्था में सुधार की संभावना से निवेशकों की धारणा मजबूत हुई है।
वहीं, जियोजीत फाइनेंशियल सर्विसेज के प्रमुख (शोध) विनोद नायर ने कहा, घरेलू बाजारों की शुरुआत सतर्क रुख के साथ हुई। एक और राहत पैकेज की उम्मीद से बाजार ने रफ्तार पकड़ी। नए पैकेज से अर्थव्यवस्था के सबसे अधिक प्रभावित पर्यटन, विमानन, हॉस्पिटेलिटी और एमएसएमई क्षेत्र को राहत मिलने की उम्मीद है।
सेंसेक्स में तेजी से कंपनियों का बाजार पूंजीकरण 86,793 करोड़ बढ़कर रिकॉर्ड 219.93 लाख करोड़ रुपये पहुंच गया। इससे पहले 21 मई को कंपनियों की बाजार पूंजी पहली बार 3 लाख करोड़ डॉलर (218.05 लाख करोड़ रुपये) को पार कर गई थी।
मोतीलाल ओसवाल के मुताबिक, भारत में कोरोना की दूसरी लहर शांत होती नजर आ रही है। साल के बाकी बचे समय में टीकाकरण अभियान में तेजी के साथ ही घरेलू बाजार की गति में और तेजी आ सकती है।
सरकार राजस्व में बढ़ोतरी करने के लिए पान मसाला, गुटखा और ईंट भट्ठों पर अतिरिक्त जीएसटी लगाने पर विचार कर रही है। सात मंत्रियों का समूह आकलन रिपोर्ट तैयार कर रहा है। अतिरिक्त शुल्क की वसूली विनिर्माण क्षमता के आधार पर होगी। मंत्री समूह छह महीने में अपनी रिपोर्ट जीएसटी परिषद को सौंपेगा।
ओडिशा के वित्तमंत्री निरंजन पुजारी की अगुवाई में समिति बनाई गई है। शुरूआती आकलन के मुताबिक, जीएसटी लेवी की वसूली उत्पादन स्तर पर की जाएगी और इकाइयों को ही इसका भुगतान करना होगा।
गौरतलब है कि अभी नुकसानदेह और लग्जरी उत्पादों जैसे तंबाकू, सिगरेट और महंगी गाड़ियों पर जीएसटी के अलावा सेस भी वसूला जाता है। समिति गुटखा उत्पादन में इस्तेमाल होने वाले मेंथा तेल पर भी अतिरिक्त कर वसूली पर मंथन करेगी। यह कदम पान मसाला जैसे उत्पादों पर जीएसटी चोरी की बढ़ती घटनाओं पर रोक लगाने के लिए उठाया जाएगा।