मुजफ्फरनगर। सर्दी अभी ठीक से शुरू भी नहीं हुई है और प्रदूषण ने रंग दिखाना शुरू कर दिया है। एक दिन पूर्व ही मेरठ का प्रदूषण स्तर चार दिन की तुलना में दस गुना बढ़ गया था। शनिवार को मुजफ्फरनगर का हाल बेहाल नजर आया। मुजफ्फरनगर जहां देश में सबसे प्रदूषित तीसरा शहर रहा वहीं प्रदेश में पहले स्थान पर रहा। बड़ी बात यह है कि प्रदेश में सर्वाधिक प्रदूषित शहरों की सूची में प्रथम तीन शहर पश्चिम उत्तर प्रदेश के हैं। माना जा रहा था कि पिछले दिनों लगातार हुई बारिश से प्रदूषण कम होगा लेकिन बढ़ता प्रदूषण खतरे की घंटी बजा रहा है।
मेरठ शनिवार को सुबह के समय पीएम 2.5 350 से 380 माइक्रो ग्राम प्रति घन मीटर रहा। यह मानव स्वास्थ्य के लिहाज से खतरे के बिंदू से पार था। दोपहर में धूप निकलने के बाद जरूर एक्यूआइ सामान्य रहा। लेकिन शाम होने के बाद दिल्ली रोड पर धुंध छा गई। रात नौ बजे जय भीमनगर में पीएफ 2.5 फिर से 300 के पार पहुंच गया।
केंद्रीय प्रदूषण बोर्ड के जारी बुलेटिन में देश के छह सर्वाधिक प्रदूषित शहरों में से तीन पश्चिम उप्र के थे। मुजफ्फरनगर तीसरे और बुलंदशहर चौथे और मेरठ छठे स्थान पर रहा। बरसात के बाद भी मेरठ में नमी स्तर उच्च बना हुआ है। शनिवार को आदृता का अधिकतम प्रतिशत 95 और न्यूनतम प्रतिशत 54 रहा। निर्माण कार्य की धूल और वाहनों का धुआं वातावरण के निचले स्तर पर बना हुआ है।
शहर एक्यूआइ
धारुहेड़ा 286
मनेसर 246
मुजफ्फरनगर 228
बुलंदशहर 226
कोप्पल 218
मेरठ 217
फिरोजाबाद 217
कुरुक्षेत्र 211
गुरुग्राम 213
हापुड़ 205