नई दिल्ली. कोरोना टीकाकरण के दौरान भारत में सबसे ज्यादा दो वैक्सीन इस्तेमाल की जा रही हैं. एक- सीरम की कोविशील्ड और दूसरी- भारत बायोटेक की कोवैक्सीन. चूंकि सरकारी स्तर पर चलाया जा रहा टीकाकरण कार्यक्रम अब काफी हद तक पूरा हो चुका है, तो ऐसी खबरें हैं कि इन दोनों टीकों को खुले बाजार में बिक्री के लिए मंजूरी दी जा सकती है.

केंद्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय के सूत्रों के हवाले से खबर दी है. इसमें बताया है कि हाल ही में हुई एक उच्चस्तरीय बैठक में खुले बाजार के लिए दोनों टीकों की कीमतों के बारे में चर्चा हुई है. भारत के औषधि महानियंत्रक चूंकि कोविशील्ड और कोवैक्सीन को खुले बाजार में बिक्री की मंजूरी दे सकते हैं. इसे देखते हुए दोनों टीकोंकी कीमतें सबके लिए सुलभ बनाने पर विचार-विमर्श किया गया.

एक उच्च पदाधिकारी ने इस बैठक के बाद पहचान जाहिर न करने की शर्त पर बताया, ‘केंद्र सरकार अभी दोनों टीकों को थोक में 205 रुपये के आसपास खरीद रही है. इसलिए बैठक में मौजूद ज्यादातर लोगों का मानना था कि इस कीमत पर 33% का मुनाफा जोड़ना पर्याप्त रहेगा. इस तरह खुले बाजार में कोविशील्ड और कोवैक्सीन 275 रुपये प्रति खुराक के आसपास पड़ सकती हैं. इसके अलावा सरकार प्रति खुराक 150 रुपये का सेवा शुल्क (Service Charge) लिए जाने को भी मंजूरी दे सकती है.’ सूत्रों की मानें तो सरकार जो कीमतें तय करेगी, वह अधिकतम होगी. यानी इससे अधिक कीमत कोई भी कंपनी या विक्रेता नहीं वसूल सकेगा.

उल्लेख करना जरूरी है कि अभी कोविशील्ड और कोवैक्सीन को आपात इस्तेमाल की ही मंजूरी मिली है. वह उपयोग चाहे सरकार करे या निजी अस्पतालों के स्तर पर. सरकार इन दोनों टीकों को जहां मुफ्त लगा रही है, वहीं निजी अस्पतालों में इनकी तय कीमत ली जाती है. कोविशील्ड के निर्माताओं ने निजी अस्पतालों के लिए इसकी कीमत 1,200 प्रति खुराक तय की हुई है. जबकि कोवैक्सीन उन्हें 780 रुपये प्रति खुराक पर उपलब्ध हो रही है. इन कीमतों में 150 रुपये प्रति खुराक सेवा शुल्क भी शामिल है.