नवाबगंज के खागलपुर गांव में पांच लोगों की मौत मामले में एक नया मोड़ आ गया है। पुलिस की छानबीन में यह तथ्य सामने आया है कि घटना की रात बाहर से कोई भी शख्स अंदर नहीं आया। ऐसे में अब शक की सुई गृहस्वामी पर ही जा रही है जिसका शव बरामदे में लटकता मिला। हालांकि घटना को उलझाने के लिए भी एक शख्स की लाश को लटकाने की साजिश के तहत देखा जा रहा है। फिलहाल पुलिस सबी पहलुओं पर छानबीन कर रही है। परिवार के पांच सदस्यों की संदिग्ध मौत मामले में पुलिस को कमरे से एक सुसाइट नोट मिला है, जो गृहस्वामी राहुल के द्वारा लिखा बताया जा रहा है। इसमें राहुल ने अपनी मौत का जिम्मेदार ससुराल पक्ष के 11 लोगों को बताया है।

आपको बता दें कि नवंबर 2021 से राहुल तिवारी भागलपुर गांव में परिवार के साथ रहता था। वह मूल रूप से कौशांबी का रहने वाला था। वह पशुओं की खरीद फरोख्त का काम करता था। देर रात राहुल तिवारी का परिवार खाना खाकर सो गया। मृतक का परिवार जिस कमरे में रह रहा था उसका चैनल खुला हुआ था। सुबह जब घर से कोई नहीं निकला तो पास में रहने वाले एक व्यक्ति ने अंदर जाकर देखा तो वह दंग रह गया। राहुल आंगन के पाटन में लटका हुआ था। जबकि पत्नी और बच्चे के लहूलुहान शव कमरे में बिस्तर पर पड़े थे।
जानकारी देते एसएसपी अजय कुमार और क्षेत्रीय विधायक गुरु प्रसाद मौर्य।

घटना को लेकर तरह-तरह की चर्चाएं हो रही हैं। पांच लोगों की मौत ने सभी को अंदर से झकझोर कर रख दिया है। चर्चा यह भी रही है कि जब हत्यारों ने पांच लोगों को धारदार हथियार से काटा तो गृहस्वामी को फांसी के फंदे पर क्यूं लटका दिया। कहीं मामले को दूसरी तरफ मोड़ने की साजिश तो नहीं है।

मौके पर मौजूद साक्ष्यों के आधार पर देखा जाए तो शक की सुई मृतक राहुल की तरफ ही इशारा कर रही है, लेकिन अब तथ्य यह है कि इतना खौफनाक कदम आखिर राहुल ने क्यों उठाया।
माही।

मां और तीन बच्चियों के शरीर पर धारदार हथियार से वार के निशान हैं, लेकिन राहुल के शरीर पर कोई भी निशान नहीं है। उसका शव फंदे से बरामदे में पाटन के सहारे लटका हुआ था। अब पुलिस इस छानबीन में जुटी है कि राहुल की मौत कैसे हुई है।

पुलिस की छानबीन में यह तथ्य भी सामने आए हैं कि राहुल का अपने ससुराल के लोगों से भी किसी बात को लेकर विवाद चल रहा था। घटना की सूचना पर रोते बिलखते पहुंचीं बहनों ने पुलिस को बताया कि राहुल को ससुराल के लोग खास तौर पर साले से उसको काफी परेशान कर रहे थे। बहनों ने तो राहुल के सालों पर ही हत्या का शक जाहिर किया है। ऐसे में सवाल अब यह है कि सालों ने अगर अपने बहनोई को मारा तो बहन और उसके तीन बच्चों को किसने मौत के घाट उतारा है।

पांच लोगों की मौत के बाद वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय कुमार और क्षेत्रीय विधायक गुरु प्रसाद भी मौके पर पहुंचे। पुलिस ने विभिन्न बिंदुओं पर छानबीन की। एसएसपी अजय कुमार का कहना है कि चार लोगों की तो हत्या प्रतीत हो रही है लेकिन गृह स्वामी राहुल के शरीर पर कोई भी चोट का निशान नहीं है। उसका शव बरामदे के पाटन से लटका मिला है। उसके पास तीन कुर्सियां एक के ऊपर एक करके रखी हुई हैं। अब पुलिस की जांच सिर्फ राहुल के मौत के कारण का पता लगाने पर है।

नवाबगंज में पांच लोगों की मौत के मामले में पुलिस ने गृहस्वामी के बड़े भाई की तहरीर के आधार पर चार लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है। एसएसपी अजय कुमार ने बताया कि मामले के खुलासे के लिए जिले की तेज तर्रार सात टीमों को लगाया गया है। जल्द ही आरोपियों की गिरफ्तारी कर ली जाएगी। ससुराल पक्ष से मकान और खेत का विवाद भी सामने आया है।

एक ही दिन में सात लोगों की हत्या से मचा हड़कंप, डीजीपी मुख्यालय ने मांगी रिपोर्ट
प्रयागराज में एक ही दिन में दो अलग-अलग थाना क्षेत्रों में 7 लोगों की हत्या को लेकर हड़कंप मच गया है। इन घटनाओं के बाद डीजीपी मुख्यालय ने प्रयागराज के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय कुमार और आई जी राकेश कुमार सिंह से रिपोर्ट मांगी है।

पहली घटना नवाबगंज थाना क्षेत्र की है यहां एक ही परिवार के 5 लोगों के शव मिले हैं। वहीं, सोरांव थाना क्षेत्र के दो अलग-अलग गांव की हैं। जहां एक प्रॉपर्टी डीलर व एक महिला की हत्या कर दी गई है।