नई दिल्ली. देश में लोग अलग-अलग माध्यम में निवेश करते हैं. साथ ही लोग रिटायरमेंट के हिसाब से भी फंड बनाकर रखते हैं. रिटायरमेंट के लिए फंड बनाने की जब बात आती है तो इसमें पीएफ अकाउंट भी काफी अहम भूमिका निभाता है. अब पीएफ अकाउंट को लेकर एक अहम जानकारी सामने आई है, जिसका असर देश के लाखों लोगों पर पड़ने वाला है. दरअसल, रिटायरमेंट फंड का प्रबंधन करने वाले निकाय ईपीएफओ ने मार्च में शुद्ध आधार पर 13.40 लाख सदस्य जोड़े हैं. इसके साथ ही बीते वित्त वर्ष में कुल 1.39 करोड़ सदस्य बढ़े. शनिवार को जारी आंकड़ों में यह जानकारी दी गई.
ईपीएफओ ने इससे पिछले वित्त वर्ष में शुद्ध आधार पर 1.22 करोड़ सदस्य जोड़े थे. श्रम मंत्रालय ने बयान में कहा, “मार्च में जुड़े 13.40 लाख सदस्यों में लगभग 7.58 लाख नए सदस्य ईपीएफओ के दायरे में पहली बार आए हैं.” बयान में कहा गया, “वित्त वर्ष 2022-23 के दौरान सालाना आधार पर 13.22 प्रतिशत वृद्धि के साथ लगभग 1.39 करोड़ सदस्य शुद्ध रूप से जोड़े गए हैं.” इससे पिछले वित्त वर्ष में शुद्ध रूप से 1.22 करोड़ सदस्य जुड़े थे.
कर्मचारी भविष्य निधि संगठन ने कहा कि नए जुड़ने वाले सदस्यों में सर्वाधिक नामांकन 18-21 आयुवर्ग के थे. इनकी संख्या 2.35 लाख थी. इसके बाद 22-25 आयुवर्ग के 1.94 लाख सदस्य शामिल हुए. बयान के अनुसार, इस महीने जुड़े कुल सदस्यों में 18-25 आयुवर्ग के नए सदस्य 56.60 प्रतिशत हैं.
आंकड़ों के अनुसार, लगभग 10.09 लाख सदस्यों ने ईपीएफओ की सदस्यता दोबारा ली. यानी इन सदस्यों ने नौकरी बदली. लैंगिक आधार पर मार्च में शुद्ध रूप से 2.57 लाख महिला सदस्य जुड़ीं, जो इस महीने जुड़े कुल सदस्यों का 19.21 प्रतिशत था.