लखीमपुर। लखीमपुर खीरी के गांव राजापुर के कई किसान शहर में बिलोवी हाल के पास पानी की टंकी पर चढ़ गए। किसान आवास विकास द्वारा जमीन अधिग्रहण करने से आक्रोशित हैं। उन्होंने आवास विकास परिषद पर जबरन जमीन कब्जाने का आरोप लगाया। किसानों ने जमीन अधिग्रहण को निरस्त करने की मांग उठाई। किसानों का कहना था कि करीब दो वर्षों से जिला मुख्यालय और लखनऊ के अधिकारियों के चक्कर काट रहे हैं।
सुनवाई न होने पर गांव के 20 से अधिक किसान शुक्रवार को सुबह करीब आठ बजे टंकी पर चढ़ गए। 30 से 40 किसान टंकी के नीचे बैठ गए। इनमें महिलाएं भी शामिल रही। इसकी जानकारी मिलते ही प्रशासन में खलबली मच गई। योग कार्यक्रम को बीच में छोड़कर अफसर मौके पर पहुंच गए। करीब साढ़े छह घंटे बाद किसान मानें और टंकी से नीचे उतरे।
किसानों के टंकी पर चढ़ने के एक घंटे के बाद एडीएम और एसडीएम मौके पर पहुंचे। दोनों अफसरों ने किसानों को समझने का प्रयास किया। किसानों को पानी की टंकी से उतरकर कलेक्ट्रेट में प्रदर्शन करने को कहा गया। लेकिन किसानों का कहना है कि वे कहीं नहीं जाएंगे। किसानों को टंकी से नीचे उतारने की कोशिश नाकाम हो गई।
राजापुर और पिपरिया में किसानों की 317 एकड़ जमीन है। इस जमीन को अधिग्रहण करने के लिए आवास विकास ने प्रक्रिया शुरू कर दी। इस पर किसानों ने आपत्ति जताई, लेकिन शासन प्रशासन द्वारा कोई सुनवाई नहीं हुई। शुक्रवार सुबह बड़ी संख्या में किसान विलोबी हाल के पास स्थित पानी की टंकी के पास पहुंचे।
किसानों ने शासन प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की। इसके बाद बड़ी संख्या में किसान पानी टंकी पर चढ़ गए। किसानों का कहना था जब तक उनकी सुनवाई नहीं होगी, तब तक वह नीचे नहीं उतरेंगे। सूचना पर एडीएम प्रशासन संजय सिंह सहित अन्य प्रशासन अफसर मौके पर पहुंचे और किसानों को समझने का प्रयास किया।
लखनऊ से आवास विकास परिषद के एक्सईन उमानाथ शुक्ला टंकी पर चढ़े किसानों को समझाने के लिए पहुंचे। कई बिंदुओं पर वार्ता हुई। सूचना मिलने पर खीरी सांसद उत्कर्ष वर्मा मौके पर पहुंचे और टंकी के नीचे बैठे किसानों के साथ प्रशासनिक अफसरों से बातचीत की। करीब साढ़े छह घंटे बाद किसान टंकी से नीचे उतरे।