मुजफ्फरनगर।  प्राकृतिक खूबसूरती संजोए सोलानी नदी के किनारे वाली कालेवाला झील को पर्यटक स्थल के रूप में विकसित किया जाएगा। वाटर वेटलैंड के रूप में इसे विकसित करने की तैयारी है। राजस्व और वन विभाग की टीम यहां से अवैध कब्जे हटाएगी और इसके बाद प्राकृतिक क्षेत्र को भव्य रूप दिया जाएगा।

डीएम उमेश मिश्रा ने शनिवार को राजस्व विभाग और वन विभाग की टीम के साथ आठ गांवों से घिरी झील क्षेत्र का निरीक्षण किया। उन्होंने बताया कि काले वाला झील को ईको टूरिज्म के रूप में वन विभाग की ओर से विकसित किया जा रहा है। झील का क्षेत्रफल 1150 हेक्टेयर है। इसके सीमांकन का काम शुरू हो गया है। पुरकाजी और भोपा के बीच वाले इस क्षेत्र के अलमावाला, तुगलकपुर व कालेवाला झील का एरिया है। यहां अभी तक सीमांकन नहीं किया गया है। पिलर लगाने का कार्य किया जाना है। डीएम ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि वह जमीन से अवैध कब्जे तुरंत हटवाएं और भूमि को संरक्षित करने के निर्देश दिए। निरीक्षण के दौरान एसडीएम सदर निकिता शर्मा मौजूद रहीं।