मुजफ्फरनगर। कोरोना की रफ्तार कई गुणा तेजी से बढ़ रही है। एक घंटे में करीब 21 संक्रमित मिल रहे हैं। चार गंभीर रोगियों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। पांच साल से कम उम्र के दो बच्चे भी कोरोना संक्रमित मिले हैं।
शनिवार को स्वास्थ्य विभाग ने 504 संक्रमितों की पुष्टि की है। प्रत्येक 24 घंटे बाद संक्रमितों की रिपोर्ट जारी की जा रही है। एक दिन में 504 मरीज अब तक की रिकॉर्ड संख्या है। एक दिन में इससे पहले इतने मरीज पहले नहीं मिले हैं। चार गंभीर मरीजों को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। स्वास्थ्य विभाग मरीजों की कांटेक्ट ट्रेसिंग का कार्य करा रहा है। संक्रमित के संपर्क में आने वाले 309 संक्रमित मिले हैं। जिले में संक्रमण की चार से अधिक चेन चल रही है, जिन्हें तोडऩा स्वास्थ्य विभाग के लिए चुनौती बन गया है। 1936 मरीजों को होम आइसोलेशन में रखा गया है। चार मरीज अस्पतालों में अपना उपचार करा रहे हैं।
कोरोना संक्रमण की जांच के लिए जिले में 2768 टेस्ट कराए गए हैं। शनिवार को स्वास्थ्य विभाग की टीम ने विभिन्न क्षेत्रों में पहुंचकर जांच की, जिनमें सैकड़ों रिपोर्ट लंबित है।
एक साल तक के बच्चे को अधिक खांसी आ रही हो, पसली चल रही हो, बच्चा दूध व खुराक लेना बंद कर दे, तेज बुखार हो और दस्त न रुके तो नजदीकी स्वास्थ्य केंद्र पर चिकित्सक से जरूर संपर्क करें। दिन में तीन-चार बार बच्चे के सांस लेने की दर (रेस्परेटरी रेट) और आक्सीजन सेचुरेशन (पल्स ऑक्सीमीटर से) जरूर नापें, आक्सीजन सेचुरेशन 94 फीसद व उससे अधिक ही होना चाहिए।
लक्षण युक्त शिशु (जिनका कोविड टेस्ट रिजल्ट अभी ज्ञात नहीं है या टेस्ट नहीं हुआ है) और संक्रमित शिशु जिनको केवल बुखार है, उनके लिए दी जा रही किट में पैरासीटामॉल ड्रॉप (100 मिग्रा प्रति मिली.) की दो शीशी, मल्टी विटामिन ड्रॉप की एक शीशी और ओआरएस का एक पैकेट शामिल है । पैरासिटामाल ड्रॉप बुखार आने की स्थिति में बच्चे को देना है और ध्यान रहे इसे खाली पेट नहीं देना है । शून्य से दो माह तक के शिशु को पैरासिटामाल ड्रॉप दशमलव पांच मिली दिन में तीन बार देना है, तीन से छह माह तक के शिशु को एक मिली दिन में तीन बार और सात से 12 माह के शिशु को एक मिली दिन में चार बार बुखार आने पर देना है । मल्टी विटामिन का ड्रॉप छह माह तक के शिशुओं को नहीं देना है, सात से 12 माह तक के शिशु को दशमलव पांच मिली सात दिन तक देना है। दस्त की स्थिति में ओआरएस का घोल थोड़ी-थोड़ी मात्रा में दें ।
पैरासिटामाल सिरप (बुखार आने पर दें, ध्यान रहे खाली पेट नहीं देना है)। एक से दो वर्ष के बच्चे को पाँच मिली छह घंटे के अंतराल पर दिन में चार बार, दो से तीन वर्ष को 10 मिली आठ घंटे के अंतराल पर दिन में तीन बार, तीन से पांच वर्ष के बच्चे को 10 मिली छह घंटे के अंतराल पर दिन में चार बार देना है । मल्टीविटामिन सिरप- एक से दो वर्ष के बच्चे को ढाई मिली रात को एक बार, दो से पांच वर्ष तक के बच्चे को ढाई मिली सुबह और रात को सात दिन तक देना है । ओआरएस का घोल दस्त आने पर देना है ।
टैबलेट पैरासिटामाल (500 मिलीग्राम) बुखार आने पर आधी गोली दिन में तीन बार (खाली पेट नहीं देना है)। आठ घंटे के अंतराल पर, टैबलेट आइवरमेक्टिन छह मिलीग्राम-रात को खाना खाने के एक घंटे बाद एक गोली तीन दिन तक, मल्टीविटामिन टैबलेट- रात को सोने से पहले एक गोली सात दिन तक, ओआरएस का घोल दस्त आने पर देना है ।
टैबलेट पैरासिटामाल (650 अथवा 500 मिलीग्राम) की 15 गोली-पांच दिन के लिए, टैबलेट आइवरमेक्टिन 12 मिलीग्राम पांच दिन के लिए पांच गोली-रात के खाने के बाद (गर्भवती व धात्री महिलाओं और 12 वर्ष से कम उम्र के बच्चों को नहीं देना है), टैबलेट एजिथ्रोमायिसिन-500 मिलीग्राम पाँच दिन के लिए पाँच गोली, टैबलेट विटामिन-सी, गोली/कैप्सूल विटामिन बी कांप्लेक्स, विटामिन डी थ्री ।
इन दवाओं के सेवन के साथ ही सांस संबंधी व्यायाम, योग व प्राणायाम करने की सलाह दी गई है । तीन से चार लीटर प्रतिदिन हल्का गर्म या गुनगुना पानी पिएं और दिन में तीन से चार बार आक्सीजन सेचुरेशन पर ध्यान दें। आक्सीजन सेचुरेशन 94 फीसद से अधिक होना चाहिए ।