नई दिल्ली. साल 2011 में भारत ने दूसरी बार वनडे वर्ल्ड कप खिताब जीता था और टीम के कप्तान एम एस धौनी थे। इसमें कोई शक नहीं कि धौनी के पास एक शानदार टीम थी जो वर्ल्ड कप जीतना डिजर्व करते थे और सोने पर सुहागा ये था कि इस साल वर्ल्ड कप भारतीय धरती पर खेला गया था। 2011 वर्ल्ड कप टीम में हरभजन सिंह भी थे और वो भी श्रीलंका के खिलाफ खेले गए फाइनल मैच में भारतीय प्लेइंग इलेवन का हिस्सा था। भज्जी का इस फाइनल में योगदान इतना था कि उन्होंने 10 ओवर गेंदबाजी की थी और 51 रन देकर एक विकेट तिलकरत्ने दिलशान के रूप में लिया था जिन्होंने 33 रन की पारी खेली थी।

अब भज्जी ने भारत की इस वर्ल्ड कप जीत पर बड़ी बात कही। भज्जी ने स्टार स्पोर्ट्स पर बात करते हुए कहा कि जब आस्ट्रेलिया वर्ल्ड कप जीतती है तो सब कहते हैं कि आस्ट्रेलिया की टीम ने वर्ल्ड कप खिताब जीता। वहीं जब भारत ने साल 2011 में वर्ल्ड कप जीता तो सब यही कहते हैं कि एम एस धौनी ने वर्ल्ड कप जीता। ऐसे में बाकी के दस खिलाड़ी कहां गए जबकि ये एक टीम गेम है।

वैसे एक बात गौर करने वाली है कि साल 1983 में जब भारत ने पहला वनडे वर्ल्ड कप जीता था तो उस वक्त टीम के कप्तान कपिल देव थे। आज भी जब उस वर्ल्ड कप की बात की जाती है तो कपिल देव का नाम सबसे पहले आता है। इसी तरह से 2011 वर्ल्ड कप के बारे में भी कुछ ऐसा ही है। जब 2015 वर्ल्ड कप की बात की जाती है तो फिर हार की ठीकरा भी धौनी के सिर ही आता है और उसी तरह से 2019 वनडे वर्ल्ड कप की हार का जिम्मेदार भी विराट कोहली को ही ठहराया जाता है।

आपको बता दें कि 2011 वर्ल्ड कप में भारत की हालत खासी खराब थी और ऐसे हालात में इस टीम को संभालने का काम एम एस धौनी ने किया था। हालांकि उन्हें गौतम गंभीर (97 रन), विराट कोहली (35 रन) और युवी (नाबाद 21 रन) से अच्छा साथ मिला था, लेकिन धौनी ने भी नाबाद 91 रन की पारी खेली थी। इस पारी को शायद ही कोई भूल सकता है।