उन्होंने सीएम योगी के कैराना आगमन पर कटाक्ष करते हुए कहा कि अभी बाबा जी आये तो पलायन याद दिलाकर चले गये। जबकि सच्चाई यह है कि उत्तराखंड से बाबा जी का पलायन नहीं होता तो इस प्रदेश की जनता के पांच साल खराब नहीं होते। सपा ने प्रदेश को अपनी सरकार में काम करके दिखाया है। एम्बुलेंस सेवा सपा सरकार की देन है। कोरोना में इस सरकार ने न दवाई दी, अस्पताल दिये और ऑक्सीजन न ही मिला। इस सरकार ने जनता को अनाथ छोड़ दिया। लॉकडाउन में मजदूरों ने जो तकलीफ उठाई, वह इस सरकार का फेलियर है। किसान और गरीब घर जाना चाहता था और इलाज चाहता था तो सपा की एम्बुलेंस मददगार बनी थी।
अखिलेश यादव ने कहा कि कानून व्यवस्था ठीक करने का दावा करते हैं, लेकिन सीएम योगी बताये कि थानेां में हत्या क्यों हो रहे हैं। देश में कहीं ऐसा हो रहा हेा तो बताओ। गोरखपुर में व्यापारी मनीष गुप्ता की हत्या का मामला उठाते हुए कहा कि मनीष इस सरकार का विकास देखने कानपुर से वहां गया था। पुलिस ने ही होटल में हत्या कर दी। इस हत्या की दोषी भाजपा की सरकार है। जो मुख्यमंत्री अपने गृह जनपद में ही सुरक्षा का माहौल पैदा नहीं कर सकता तो प्रदेश का क्या हाल होगा। कासगंज प्रकरण भी उठाया। आंकडों पर नजर डाले बाबा जी। सबसे ज्यादा अन्याय जनता पर कहीं हो रहा है तो भाजपा सरकार में यूपी में हो रहा है। बाबा जी की ठोको नीति का ही असर है कि आज पुलिस पिट रही है और निर्दोषों की हत्या हो रहा है। पुलिस को सबसे अच्छी सुविधा और व्यवस्था सपा सरकार ने देने का काम किया है। सबसे जयादा प्रमोशन पुलिस विभाग में किये गये हैं। यूपी डायल सेवा हमारी उपलब्धि है। आपने उसे बेहतर नहीं किया, गाडी की संख्या नहीं बढ़ाई, केवल एक काम किया 100 को 112 कर दिया।
भाजपा की इस सरकार ने विकास के नाम पर केवल रंग बदलना सीखा है और नाम बदल रहे हैं। सीएम योगी की ठोको नीति ने प्रदेश को बर्बाद किया है। अभी तक अपने किसी भी काम का शिलान्यास या उदघाटन नहीं किया है। यूपी के लोग अब परिवर्तन चाहते है। जनता झूठी सरकार नहीं चाहती है। वोट लिया पिछड़ों के नाम पर लेकिन पिछड़ों को ही धोखा दे दिया। ये पार्टी पिछड़ों की गणना करने से कतरा रही है। पिछड़ों को नौकरी का अधिकार छीना जा रहा है। बड़ी संस्थाओं को बेच रही है, प्राइवेट कर रही है। नोटबंदी के पांच साल बाद भी न तो आतंकवाद खत्म हुआ, न भ्रष्टाचार समाप्त हुआ। आज पिछड़ा वर्ग बदलाव का बन बना चुका है। जनता को नौकरी, नहीं, रोजगार नहीं मिला केवल महंगाई मिली है।
उन्होंने किसानों की पीड़ा पर कहा कि सरकार ने 340 गन्ना मूल्य किया है। पर्ची पर कीमत कम आ रही है। किसी को भी यह भाव नहीं मिल रहा है। जाने वाली सरकार यह भाव नहीं देगी। यह छीनना जानती है। खाद कहा हैं? किसी को पता नहीं है। डीएपी किसानों को नहीं मिल रही है। कीटनाशक दवाईयां नहीं मिल रही है, बीज महंगे हो गये हैं। सपा प्रमुख ने कहा कि किसानों को सबसे ज्यादा अपमानित करने का काम भाजपा ने किया है। ये नफरत फैलाने वाले लोग हैं। समाज में खाई पैदा करने वाले लोग हैं, इसलिए ही आने वाले चुनाव में जनता भाजपा का सफाया कर भाजपा को जवाब देगी। पिछड़ों और अति पिछड़ों के साथ ही हर वर्ग का साथ सपा को मिल रहा है। परिवार की पार्टी नहीं है सपा, हमारा दल समाजवादियों का दल है। भाजपा में सबसे बड़ा परिवारवाद है। आजकल सीएम योगी को बार बार खानदान याद आ रहा है, हारने वाला ही परिवार को याद करता है। सपा की सरकार में सभी की भागीदारी होगी, सभी को सम्मान मिलेगा। सपा सरकार आई तो पिछड़ों की गणना का काम कराया जायेगा। किसानों को उम्मीद से ज्यादा बिजली बिल में राहत दिलायेंगे। एक यूनिट भी भाजपा सरकार ने यूपी में नहीं बढ़ाई, लेकिन बिल बेतहाशा बढ़ा दिया है। 2022 में बहुमत के साथ सपा की सरकार बनेगी। यह सरकार किसानों की होगी, नौजवानों और बेरोजगारों की सरकार होगी।
सम्मेलन में मुख्य रूप से सपा के राष्ट्रीय महासचिव सांसद विशम्बर प्रसाद निषाद, पिछड़ा प्रकोष्ठ के प्रदेश अध्यक्ष डा. राजपाल कश्यप, पूर्व सांसद हरेन्द्र मलिक, विधायक संजय गर्ग, पूर्व सांसद राजपाल सैनी, राजकुमार यादव, गौरव स्वरूप, पूर्व विधायक अनिल कुमार, पूर्व विधायक पंकज मलिक, पूर्व विधायक मिथलेश पाल, पूर्व मंत्री उमा किरण, पूर्व मंत्री मुकेश चौधरी, विधायक रफीक अंसारी, अतुल प्रधान, सुधाकर कश्यप, जिलाध्यक्ष प्रमोद त्यागी सहित सैंकड़ों कार्यकर्ता और भारी भीड़ उपस्थित रही।
गठबंधन में ही चुनाव लड़ेगी सपा, अखिलेश ने किया स्पष्ट इशारा
यूपी विधानसभा चुनाव 2022 में समाजवादी पार्टी छोटे-बड़े दलों से गठबंधन के आधार पर ही मैदान में उतरेगी। आज बुढ़ाना में जनसभा को सम्बोधित करते हुए अखिलेश यादव ने कहा कि जल्द ही सपा का गठबंधन होने जा रहा है। इसके बाद भी अभी बहुत सारे गठबंधन होने है। कई दलों को हमने साथ लिया है और बहुत ही जल्द कई दूसरे क्षेत्रीय तथा छोटे दलों को जोड़ने का काम होगा। उन्होंने कहा कि सपा लगातार लोगों को जोड़ने का काम कर रही है। हम छोटे छोटे दलों को जोड़ रहे हैं। हम सर्व समाज को साथ लाकर भाईचारे का संदेश देने के लिए किसानों, मजदूरों, नौजवानों और व्यापारियों के साथ ही अगडों और पिछड़ों को एक छत के नीचे जोड़ रहे हैं। हमारा उद्देश्य समाज में जुड़ाव पैदा करना है।
पिछड़ों का बढ़ाया विश्वास, कार्यकर्ताओं का जताया आभार
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने आज बुढ़ाना जनसभा के दौरान कश्यप सम्मेलन में पिछड़ों को राजनीतिक हिस्सेदारी और भागीदारी के साथ ही उचित सम्मान देने का भरोसा जगाया। उन्होंने अपने सम्बोधन के अंत में कहा कि यह जनसभा पूर्व में निर्धारित थी, लेकिन स्थगित कर दी गई। इसके बाद भी कार्यकर्ताओं ने भारी उत्साह के साथ इसको सफल बनाने का काम किया। इसके लिए पार्टी के सभी नेताओं और एक एक कार्यकर्ता का मैं आभार व्यक्त करता हूं। सभी नेता एकजुट होकर इस कार्यक्रम की सफलता में लगे। इस दौरान संयोजक सुधाकर कश्यप व राजपाल कश्यप द्वारा पिछड़ा समाज की ओर से उनको एक आठ सूत्री मांग पत्र सौंपा गया। अखिलेश यादव ने कहा कि हम कश्यप समाज के लोगों को भरोसा दिलाते हैं कि आने वाले समय में जब भी समाजवादी पार्टी को मौका मिलेगा, तो इन मांगों को मानकर समाज को सम्मान दिलाया जायेगा। उन्होंने उम्मीद जताई कि सत्ता में परिवर्तन होगा। सपा की सरकार बनेगी। महंगाई से राहत मिलेगी।