मुजफ्फरनगर। कामनवेल्थ गेम्स से कांस्य पदक विजेता दिव्या काकरान जैसे ही अपने पैतृक गांव पहुंचीं तो लोगों ने अपनी बिटिया दिव्या को पलकों पर बैठा लिया। ढोल नगाड़ों एवं आतिशबाजी के साथ ग्रामीणों ने दिव्या का स्वागत किया और फूल बरसाए।

थाना क्षेत्र के गांव पुरबालियान निवासी सूरज पहलवान की बेटी अंतरराष्ट्रीय महिला पहलवान दिव्या काकरान कॉमनवेल्थ गेम्स 2022 में कांस्य पदक जीतने के बाद बुधवार को पहली बार अपने माता-पिता तथा मंगेतर सचिन प्रताप के साथ अपने गांव पहुंची। दिव्या के आने की खुशी ग्रामीणों में सुबह से ही झलक रही थी।ग्रामीण अपने ट्रैक्टर ट्रॉली लेकर मंसूरपुर स्वागत करने के लिए चले गए थे। शाहपुर मोड़ पर दिव्या के पहुंचते ही पूर्व बुढ़ाना विधायक उमेश मलिक ने दिव्या का फूल मालाओं से स्वागत किया। गांव में पहुंचते ही दिव्या काकरान व उनके मंगेतर सचिन प्रताप का ग्रामीणों द्वारा जगह जगह पर नोटों की माला तथा फूल मालाओं से जोरदार स्वागत किया गया। इस बीच ढोल नगाड़े तथा आतिशबाजी भी की गई। गांव के कई बुजुर्गों ने जोश में आकर ढोल के सामने डांस भी किया।गांव के शिव मंदिर में दिव्या काकरान व उनके मंगेतर सचिन प्रताप ने भगवान शिव की प्रतिमा पर मत्था टेका।

दिव्या काकरान के घर पहुंचने पर खतौली थाना प्रभारी संजीव कुमार तथा मंसूरपुर थाना प्रभारी महावीर सिंह चौहान उनके घर पहुंचे तथा फूल मालाओं से उनका स्वागत किया।इस मौके पर पूर्व प्रधान संतोष पाल, डॉ रविंदर, ईशु बालियान, गौरव, मोहन प्रधान, समे सिंह, डॉ विजेंद्र, टॉम सिंह सहित सैकड़ों की संख्या में ग्रामीण मौजूद रहे।

शिव मंदिर में दिव्या ने ग्रामीणों को संबोधित करते हुए कहा कि उसे ऐसी आशा नहीं थी कि ग्रामीणों द्वारा उसका इतने भव्य तरीके से स्वागत किया जाएगा। उन्होंने कहा कि ग्रामीणों द्वारा अपार स्नेह मिलने पर उन्हें बहुत खुशी मिल रही है। उन्होंने इसके लिए ग्रामीणों का आभार जताया।

दिव्या ने कहा कि कॉमनवेल्थ गेम्स में दो बार कांस्य पदक जीतने वाली उत्तर प्रदेश में वह पहली खिलाड़ी हैं। आने वाले ओलंपिक गेम्स में कोशिश करूंगी कि गोल्ड मेडल लाकर अपने गांव के साथ साथ पूरे देश का नाम रोशन करुं। मुझे इतना प्यार सम्मान देने के लिए ग्रामीणों सहित समस्त देशवासियों का आभार व्यक्त करती हूं।