शामली। जिला पंचायत का रिर्सोस सेंटर यानि डीपीआरसी की साज सज्जा, कंप्यूटर, फर्नीचर की आदि व्यवस्था के लिए बजट अवमुक्त होने का इंतजार है। शासन से अवमुक्त धनराशि से फर्नीचर, साउंड सिस्टम, प्रोजेक्टर, कंप्यूटर, एसी आदि कार्य कराया जाएगा। इसके बाद सरकारी विभागों की बैठक आदि आयोजित कराकर किराया वसूलेगा।

वर्ष 2018 में शामली समेत 25 जिलों में राष्ट्रीय ग्राम स्वराज योजना के तहत जिला पंचायत के रिर्सोस सेंटर निर्माण के लिए 2.10 करोड़ राशि स्वीकृत की थी। प्रदेश के पंचायती राज मंत्री भूपेंद्र चौधरी ने गोहरनी गांव में इसकी आधारशिला रखी थी। वर्ष 2020 में बनकर तैयार होने पर मंत्री भूपेंद्र चौधरी ने लोकार्पण किया। फिलहाल डीपीआरसी भवन में जिला पंचायत, प्रशासन की बैठकें होती हैं।

सीडीओ शंभूनाथ तिवारी ने बताया कि डीपीआरसी की साज-सज्जा के लिए 80 लाख की धनराशि लंबित थी। इस धनराशि से डीपीआरसी भवन की साज सज्जा, फर्नीचर, साउंड सिस्टम, प्रोजेक्टर, कंप्यूटर, एसी आदि का एस्टीमेट शासन को भेजा था। शासन से धनराशि अवमुक्त होने के बाद जिला पंचायत रिर्सोस सेंटर के लिए उपयुक्त सारी आवश्यक साम्रगी खरीदकर व्यवस्था की जाएगी।

उन्होंने बताया कि डीपीआरसी की व्यवस्था के लिए मंडलीय क्रियान्वयन समिति जिलों की सरकारी विभागों में बैठक आयोजित करने के लिए किराया वसूलेगी। उधर, डीपीआरसी के जिला वरिष्ठ प्रबंधक युगांतर धामा ने बताया कि डीपीआरसी को प्रत्येक साल व्यवस्था कराने के लिए शासन से धनराशि जारी होती है। शासन के निर्देश पर प्रशिक्षण केंद्र को सुसज्जित करने के लिए धनराशि खर्च की जाएगी। इसके बाद दूसरे मदों में धनराशि अवमुक्त होने के बाद खर्च की जाएगी।