मुजफ्फरनगर। मेरठ-करनाल हाईवे पर बिटावदा गांव में फ्लाईओवर का निर्माण थम गया है। ठेेकेदार कंपनी ने निर्माण सामग्री हटा ली है। गांव से सरिया भी उठवा लिए गए हैं। एनएचएआई और प्रशासन के अधिकारी स्पष्ट रूप से कुछ भी कहने से बच रहे हैं।

हाईवे पर बिटावदा गांव में फ्लाईओवर प्रस्तावित किया गया था। एनएचएआई ने गांव में एक ही अंडरपास बनाने की योजना बनाई थी, जबकि ग्रामीणों का कहना था कि तीन अंडरपास होने चाहिए। यही नहीं फ्लाईओवर की लंबाई भी बढ़ाने की मांग रखी गई थी। करीब डेढ़ साल पहले निर्माण शुरू हुआ तो ग्रामीणों ने विरोध कर काम रुकवा दिया। प्रशासन के साथ बातचीत का दौर चला, लेकिन ग्रामीण अपनी मांग पर अडिग रहे। ग्रामीणों का कहना था कि तीन जगह अंडरपास नहीं मिलने से परेशानी खड़ी हो जाएगी। विरोध के चलते अब कंपनी के ठेकेदार ने अधूरे फ्लाईओवर से निर्माण सामग्री हटा ली है। प्रधान मनोज कुमार ने पुष्टि करते हुए बताया कि फ्लाईओवर के निर्माण में बांधे गए सरिया भी कंपनी के कर्मचारी खोलकर ले गए हैं। ग्रामीणों ने जनहित में यह मुद्दा उठाया था।

प्रधान का कहना है कि मिंडकली, धनौरा, इटावा, बडक़ता और बिटावदा गांव के मुख्य रास्ते पर भी अंडरपास नहीं दिया जा रहा था। इस रास्ते से रोजाना सैकड़ों लोगों का आवागमन होता है। ग्रामीणों ने अपनी यही मांग प्रशासन के समक्ष रखी थी। पिछले दिनों एसडीएम बुढ़ाना ने भी भ्रमण किया था।
निर्माण सामग्री उठाने की जानकारी नहीं

एसडीएम बुढ़ाना अरुण कुमार का कहना है कि ग्रामीण विरोध कर रहे थे। उन्हें मौके से निर्माण सामग्री हटाए जाने की जानकारी नहीं है।

एनएचएआई के परियोजना निदेशक संजय मिश्रा का कहना है कि उन्हें परिवर्तन की जानकारी नहीं है। प्रशासनिक विभाग यह कार्य देखता है।