नई दिल्ली। इस समय नई गाड़ी खरीदने का सपना लगभग हर मीडिल क्लास परिवार का है। हालांकि, कई बार ऐसा भी होता है कि लो बजट के चलते कई लोग अपना सपना पूरा करने में कामयाब नहीं होते हैं। क्योंकि उनके पास पैसे की तंगी होती है। इसलिए बैक इन अधूरे सपनों को पूरा करने के लिए लोन देता है। अगर आप भी लोन पर कार खरीदने का मन बना रहे हैं तो इस खबर को पूरा ताकि, लोन लेते समय कोई ऐसी गलती न हो जाए, जिससे आपको जिंदगी भर पछतावा हो।
जब भी आप कार लोन लेने के लिए बैंक जाएंगी तो संबंधित शाखा में सबसे पहले आपका सिबिल स्कोर चेक किया जाएगा। अगर आपका सिबिल स्कोर सारे पैरामिटर्स को पूरा करता है तो आपको लोन मिलने में आसानी होगी, वहीं स्कोर खराब होता हो तो आपको बैक लोन देने से मना भी कर सकता है।
बैक ये जानना चाहता है कि आपकी रीपेमेंट कैपेबिलिटी कितनी है। किसी भी व्यक्ति को लोन देने से पहले बैंक सिबिल स्कोर और रीपेमेंट कैपेबिलिटी ही चेक करता है इसके बाद ही आगे का प्रोसेस शुरू होता है। अगर आप रिपेमेंट कैपेबिलिटी को लेकर कंफ्यूज हैं तो बता दें कि रीपेमेंट कैपेबिलिटी का मतलब है कि आप लिए गए लोन को चुकाने की कितनी क्षमता रखते हैं।
कार लोन लेते समय इस बात का जरूर ध्यान दें कि आपको कितने रुपये की ईएमआई करवाना है और लोन की अवधि कितने साल तक करवाना उचित रहेगा। अपने क्षमता अनुसार ईएमआई बनवाएं, ताकि ऐसा न हो कि आपको बाद में ईएमआई भरने में समस्या आए। इन बेसिक टिप्स को अगर आप फॉलो करते हैं तो आपको कोई भी परेशानी का सामना नहीं करना पड़ेगा।