मुजफ्फरनगर। आठ साल पहले वर्ष 2013 में शहीद चौक खालापार में भड़काऊ भाषण देने के मामले में एमपी-एमएलए स्पेशल कोर्ट ने पूर्व सांसदों और विधायकों समेत सभी दस लोगों पर आरोप तय करने के लिए अब आठ अक्तूबर की तारीख लगाई है। शुक्रवार को दस में से छह आरोपी कोर्ट में पेश हुए, जबकि चार आरोपी कोर्ट में पेश नहीं हुए।

वर्ष 2013 में 27 अगस्त को कवाल कांड को लेकर 31 अगस्त को मुस्लिमों ने खालापार के शहीद चौक बड़ी सभा की थी। जिसमें भड़काऊ भाषण देने का मुकदमा शहर कोतवाली में दर्ज हुआ था। यह मुकदमा एमपी एमएलए स्पेशल कोर्ट में चल रहा है। शुक्रवार को तारीख थी, कोर्ट में दस में से आठ आरोपी पूर्व कांग्रेस सांसद सईदुज्जमां, मीरापुर के पूर्व विधायक मौलाना जमील अहमद कासमी, एडवोकेट असद जमा, सुल्तान मुशीर, मुशर्रफ कुरैशी, एहसान कुरैशी पेश हुए। पूर्व बसपा सांसद कादिर राना, चरथावल के पूर्व विधायक नूर सलीम राना, सलमान सईद और नौशाद कोर्ट में पेश नहीं हुए। उनकी ओर से उनके अधिवक्ताओं द्वारा हाजिरी माफी के लिए प्रार्थना पत्र दिया गया।

जिला शासकीय अधिवक्ता राजीव शर्मा ने बताया कि शहीद चौक खालापार में हुई पंचायत में भड़काऊ भाषण देने के मुकदमे की सुनवाई अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश गोपाल उपाध्याय की अदालत एमपी, एमएलए स्पेशल कोर्ट में चल रही है। जिसमें शुक्रवार को तारीख थी। अधिवक्ताओं की हड़ताल के चलते कोई सुनवाई नहीं हुई। विशेष लोक अभियोजक नरेंद्र कुमार शर्मा ने बताया कि न्यायाधीश ने आरोप निर्धारण के लिए आठ अक्तूबर की तारीख लगाई है। सभी दस आरोपियों को कोर्ट में पेश होने के आदेश दिए गए हैं।