मुज़फ्फरनगर । मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की सरकार द्वारा भ्रष्टाचार और लापरवाही के प्रति जीरो टॉलरेंस की नीति को सख्ती से लागू किया जा रहा है। हाल ही में चकबंदी मामलों में लेटलतीफी, लापरवाही, और अनियमितता के आरोपों के कारण तीन अधिकारियों को निलंबित किया गया है, जिनमें मुजफ्फरनगर के बंदोबस्त चकबंदी अधिकारी भी शामिल हैं। इसके अलावा, इन अधिकारियों समेत कई अन्य के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई शुरू की गई है और उन्हें आरोप पत्र जारी किए गए हैं। वहीं इन अधिकारियों समेत कई अधिकारियों के खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई के लिए आरोप पत्र जारी किये गये हैं।

मुख्यमंत्री योगी के निर्देश पर बांदा के चकबंदी अधिकारी, मुजफ्फरनगर के बंदोबस्त चकबंदी अधिकारी और महाराजगंज के सहायक चकबंदी अधिकारी के खिलाफ की गई निलंबन की कार्रवाई के बारे में प्रदेश के चकबंदी आयुक्त जीएस नवीन ने बताया कि बिजनौर में चल रही चकबंदी में अनियमितता को लेकर विभिन्न गांव के किसानों की शिकायत पर जिलाधिकारी की जांच रिपोर्ट के बाद निदेशालय स्तर पर समिति गठित कर जांच कराई गई। जांच में चकबंदी के दौरान अनियमितता की शिकायत सही मिलने पर तत्कालीन बंदोबस्त अधिकारी चकबंदी विजय कुमार को निलंबित करते हुए अनुशासनिक कार्रवाई के निर्देश दिये।

वहीं उप संचालक चकबन्दी को अनियमितताओं को दूर करने के निर्देश दिये गये। मुजफ्फरनगर में चकबंदी कार्यों में अनियमितता पर चकबन्दी अधिकारी तत्कालीन वीरेन्द्र प्रकाश सम्प्रति सहायक चकबन्दी अधिकारी के खिलाफ पिछले दस वर्ष से चल रही जांच रिपोर्ट अब तक निदेशालय को न दिये जाने पर जांच अधिकारी उप संचालक चकबंदी से स्पष्टीकरण तलब किया गया है। गौरतलब है कि इससे पहले चकबंदी अधिकारी के पेशकार को निलंबित किया गया था।