मुजफ्फरनगर। एलआईसी के डवलपमेंट आफिसर को बेटी के रिश्ते के फेर में उलझाकर 1.6 लाख रुपये की ठगी कर ली गई। ठगी करने वालों ने अपने आपको रिटायर्ड सीएमओ एवं राजस्थान पुलिस में एसआइ बताया। ठगी के लिए दोनों ने एक्सीडेंट का बहाना बनाया। आनलाइन रुपये ट्रासंफर कराकर दोनों गायब हो गए। दोनों के फोन भी बंद आ रहे हैं। साइबर सैल ने शिकायत पर मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
थाना सिविल लाइन क्षेत्र के मौहल्ला उत्तरी सिविल लाइन निवासी केके दीपक पुत्र अमर सिंह ने मुकदमा दर्ज कराया। बताया कि वह भारतीय जीवन बीमा निगम में विकास अधिकारी के पद पर कार्यरत है। उसने अपनी बड़ी लड़की की शादी 22 फरवरी 2019 को की थी, लेकिन दुर्भाग्यवश उसके दामाद का कुछ दिन बाद ही स्वर्गवास हो गया। इसके बाद उसकी लड़की की दूसरी शादी का प्रयास शुरू हुआ। वह और दूसरे परिजन काफी दिनों से अच्छे रिश्ते की तलाश में जुटे थे।
इसी बीच उसने एक दैनिक अखबार में 27 फरवरी 2022 को एक वैवाहिक विज्ञापन देखा। इसमें लड़के लिए रिश्ता मांगा गया था और एक फोन नम्बर 9311492901 दिया गया था। यह रिश्ते दीपक को अपनी बेटी के लिए ठीक लगा तो उसने फोन नम्बर मिला दिया। फोन पर उनकी बात मनोज कुमार नामक व्यक्ति से हुई, उसने खुद को रिटायर्ड सीएमओ निवासी अलीगढ़ बताया और अपने लड़के दीपक कुमार की शादी के लिए रिश्ता तलाशने की बात कही। दोनों के बीच बात बढ़ी और मनोज कुमार 28 फरवरी को फाइनल बात करने का समय दिया।
केके दीपक के अनुसार 28 फरवरी को मनोज कुमार को फोन आया और रिश्ते करने को वह तैयार हो गये। उन्होंने बताया कि वह आज अपनी भांजी की शादी में जयपुर राजस्थान जा रहे हैं। वहां से लौटने के बाद आगे बात बढाई जायेगी। केके दीपक रिश्ता मिलने पर संतुष्ट हो गये। उन्होंने पुलिस को की गयी शिकायत में बताया कि 01 मार्च को मोबाइल नंबर 9636500297 से केके दीपक को फोन आया, फोन करने वाले ने अपना परिचय राजवीर सिंह यादव सब इंस्पेक्टर थाना भझोई जिला अलवर राजस्थान बताते हुए मनोज कुमार से बात कराई।
मनोज ने फोन पर बताया कि उनका राजस्थान से लौटते हुए रास्ते में एक्सीडेंट हो गया है, जिसमें एक दूध वाले की मौत हो गयी है और उनको भी काफी चोट आई हैं। केके दीपक ने बताया कि मनोज ने कहा कि पुलिस वालों ने मृतक के परिजनों से फैसले की बात कर ली है। पैसों का प्रबंध हमने कर लिया है, लेकिन 40 हजार की कमी लग गयी है। मनोज के मांगने पर केके दीपक पैसे देने को तैयार हो गया और 40 हजार रुपये गूगल पे कर दिये। कुछ देर बार फिर फोन आया और मनोज ने 70 हजार रुपये और मांगे, केके दीपक ने सब इंस्पेक्टर के फोन नम्बर से आये एकाउंट में 20 हजार और फिर 50 हजार रुपये ट्रांसफर कर दिये।
थोडी देर में ही मनोज ने फिर फोन किया और बताया कि मौके पर एसएसपी आ गये हैं और समझौते की रकम बढ़ गयी है। तीसरी बार 50 हजार रुपये और मांगे गये। केके दीपक ने बताया कि उसने अपनी लड़की के भविष्य की चिंता को देखते हुए 50 हजार रुपये भी ट्रांसफर कर दिये। इस प्रकार मनोज कुमार ने अपनी रिश्तेदारी का हवाला देकर केके दीपक से 1.60 लाख रुपये ले लिये। इसके बाद जब केके दीपक ने अपनी बेटी के रिश्ते की बात को आगे बढ़ाने के लिए मनोज के नम्बर पर सम्पर्क किया तो फोन बंद मिला या रिसीव ही नहीं किया गया। सब इंस्पेक्टर ने भी फोन पर बात नहीं की। केके दीपक ने मनोज और एसआई पर धोखाधड़ी के आरोप लगाते हुए पैसे ठगने में कार्यवाही करने की मांग की।
एसएचओ थाना सिविल लाइन बिजेन्द्र सिंह रावत ने बताया कि पीड़ित व्यक्ति की तहरीर पर आरोपित मनोज कुमार और सब इंस्पेक्टर राजवीर सिंह के खिलाफ आईपीसी की धारा 420 और सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम संशोधित 2008 की धारा 66 डी के अन्तर्गत मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। इस मामले को साइबर पुलिस के सुपुर्द किया गया है। जांच शुरू हो गई है।