नई दिल्ली। सिरसा के डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम सिंह जल्द ही बाहर आ सकता है। राम रहीम को पैरोल देने की तैयारी की जा रही है। इस वक्त डेरा मुखी हरियाणा के रोहतक की सुनारिया जेल में बंद है। जहां वह साध्वी यौन शोषण, पत्रकार छत्रपति और रणजीत सिंह हत्याकांड में सजा काट रहा है।
इस बार पैरोल पर आने के बाद डेरा प्रमुख सिरसा या राजस्थान के डेरे में रूकेगा। इसके लिए डेरा मैनेजमेंट दोनों जगह तैयारियां कर रही है। डेरा प्रमुख की पैरोल को आदमपुर उपचुनाव और पंचायत चुनाव से जोड़ कर भी देखा जा रहा है।
इस साल में डेरा प्रमुख दो बार जेल के बाहर आ चुका है। फरवरी में डेरामुखी ने 21 दिन की फरलो ली थी। इसके बाद जून में एक महीने पैरोल पर जेल से बाहर आया था। इस साल दिसंबर से पहले डेरामुखी लगभग 40 दिन की पैरोल और ले सकता है। नियम अनुसार डेरामुखी को एक साल में करीब 90 दिन की जेल से छुट्टी मिल सकती है। इसमें 21 दिन की फरलो और 70 दिन की पैरोल शामिल है।
जेल से लिखे अपने पत्रों में डेरामुखी अनुयायियों को संदेश दे चुका है कि उनकी मुराद जल्द पूरी होने वाली है। डेरे के प्रतिष्ठानों और नाम चर्चाओं में भी संदेश दिया जा रहा है कि गुरुजी जल्द बाहर आएंगे।
हरियाणा में आदमपुर चुनाव होने वाले हैं। इसके लिए नामांकन शुरू हो चुका है। पंचायत चुनाव के लिए भी घोषणा हो चुकी है। पहले चरण में 9 जिलों में पंचायत चुनाव कराए जाने हैं। राम रहीम के बाहर आने को इससे भी जोड़कर देखा जा रहा है। राम रहीम की पैरोल की अवधि के दौरान ही डेरे की पॉलिटिकल विंग समर्थन की रणनीति बनाएगी। जिसके बारे में आगे श्रद्धालुओं को सूचित किया जाएगा।
डेरा प्रमुख पंजाब में हुए विधानसभा चुनाव के दौरान भी जेल से बाहर आया था। उस वक्त डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम सिंह 21 दिन की फरलो दी गई थी। यह फरलो इसलिए भी महत्वपूर्ण थी क्योंकि डेरा सच्चा सौदा का मालवा की 35 से ज्यादा सीटों पर सीधा प्रभाव है। इसको लेकर विपक्षी दलों ने भाजपा पर निशाने भी साधे थे।
सूत्रों की मानें तो अब राम रहीम की परिवार से दूरियां बढ़ गई हैं।पूरा परिवार विदेश जाकर बस गया है। राम रहीम की दोनों बेटियां अमरप्रीत और चरणप्रीत पहले ही लंदन चली गई थीं। 26 सितंबर को बेटा जसमीत भी परिवार के साथ लंदन चला गया। हालांकि डेरा प्रमुख की मां नसीब कौर और पत्नी हरजीत कौर इंडिया में ही रहेंगी।
राम रहीम ने हनीप्रीत को अपनी फैमिली ID में जोड़ा है। हनीप्रीत को मुख्य शिष्या और धर्म की बेटी बताया गया है। राम रहीम ने अपनी पत्नी हरजीत कौर और मां नसीब कौर का नाम दर्ज नहीं करवाया।बागपत आश्रम में रहने के दौरान राम रहीम ने अपना आधार कार्ड भी अपडेट कराया था। जिसमें पिता के नाम के आगे शिष्य एवं गद्दीनशीन शाह सतनाम जी महाराज अंकित करवाया, जबकि पहले पिता मग्गर सिंह का नाम अंकित था।