नई दिल्ली. सर्दी बढ़ने के साथ ही दिल्ली समेत उत्तर भारत के कई शहर में एयर पॉल्यूशन फैलता जा रहा है. इसका मुख्य कारण गाड़ियों से निकलने वाला धुआं है जो धुंध की शक्ल ले लेता है. इससे हर उम्र के लोग परेशान हैं, लेकिन बच्चे और बूढ़ों के लिए ये ज्यादा परेशानी का सबब बन जाता है. इससे सांस लेने में तकलीफ होती है, साथ ही हमारी आंखों को भी इरिटेशन का सामना करना पड़ता है. हमारा फेफड़ा इससे सबसे ज्यादा प्रभावित होता है. इससे बचने के लिए हम कई जरूरी उपाय कर सकते हैं.
एयर पॉल्यूशन की असर को तत्काल कम करने के लिए जरूरी है कि आप जब भी घर से बाहर निकलें तो नाक और मुंह को मास्क से जरूर ढ़क लें, इसे धुआं और धूल हमारे फेफड़ों में नहीं पहुंच पाएगी और हम दूषित हवा का असर हमारे फेफड़ों पर कम होगा.
फेफड़े को साफ गुड़ का सेवन करें साथ ही संतरा, नींबू और कीवी जैसे विटमिन-सी से भरपूर फूड खाएं. इसके अलावा आप अदरक और तुल्सी की चाय पिएं. रोजाना करीब 30 मिनट वर्कआउट करें और साइकिल चलाएं.
घरों की छत पर सोलर पैनल लगाएं और जहां तक हो सके सौर ऊर्जा का इस्तेमाल करें का इस्तेमाल करें. अगर सोलर एनर्जी से चलने वाले वाहनों का इस्तेमाल बढ़ाएंगे तो इससे कार्बन का उत्सर्जन कम किया जा सकेगा.
हम अक्सर सोचते हैं कि प्लांटेशन करना सरकार की जिम्मेदारी है, लेकिन हम अपने लेवल पर भी प्लांटेशन का काम कर सकते हैं, इससे प्रदूषण को कम किया जा सकेगा और हमें दूषित हवाओं में सांस लेने को मजबूर नहीं होना पड़ेगा.