शामली, झिंझाना। गांव चौतरा में रेत से भरे डंपर निकालने को लेकर ग्रामीणों ने शनिवार रात फिर हंगामा कर दिया। रेत भरकर जा रहे तीन डंपरों को वापस कर दिया। तीन ट्रकों को बिना रेत भरे बैरंग लौटा दिया। ग्रामीणों का आरोप है कि सत्ताधारी नेता के इशारे पर रेत खनन किया जा रहा है।
ग्राम चौतरा में शनिवार रात फिर रेत से भरे डंफरों को ग्रामीणों ने गांव से गुजरने नहीं दिया। ग्रामीण रिछपाल सिंह ने बताया कि रात करीब 10 बजे तीन डंपर रेत भरकर जा रहे थे। जिसे ग्रामीणों ने नहीं जाने दिया। बताया कि कुछ देर बाद रेत भरने आए तीन ट्रकों को भी वापस भेज दिया। रात 12 बजे तक ग्रामीण बांध पर बैठे रहे। ग्रामीणों का आरोप है कि दो दिन पहले रात में सत्तापक्ष का एक नेता मौके पर आया था। जिसका कहना था कि डंफर मेरे हैं और रास्ता सरकारी है। सरकारी रास्ते से किसी वाहन को गुजरने से ग्रामीण नहीं रोक सकते। वह जबरदस्ती रेत से भरे डंफर पुलिस की मौजूदगी में ले गया था। जबकि खनन प्वाइंट हरियाणा निवासी व्यक्ति के नाम है। जिसका रकबा हरियाणा में ही दर्ज है।
रेत से भरे वाहन गांव से गुजरने से टकराव के हालात बने हैं। ग्रामीणों का आरोप है कि रेत से भरे वाहनों से बांध का रास्ता पूरी तरह से टूट जाता है। जिससे यमुना में आया पानी फसलों और घरों में घुस जाता है। बता दें कि रेत खनन के टकराव को लेकर पूर्व में झिंझाना थाना प्रभारी निरीक्षक बीपी सिंह यादव व पुलिस टीम पर खनन माफियाओं ने जानलेवा हमला कर दिया था। जिसमें तत्कालीन थाना प्रभारी गंभीर रूप से घायल हो गए थे। रेत खनन को लेकर बिडौली व चौतरा क्षेत्र हमेशा सुर्खियों में रहा है।