कि यह महामारी काबू में आती जा रही है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ. हर्षवर्धन ने बताया कि बीते सात दिनों में देश के 146 जिलों में कोरोना संक्रमण का एक भी नया मामला सामने नहीं आया है।  हर्षवर्धन ने बृहस्पतिवार को कहा कि भारत ने कोविड-19 महामारी के प्रसार को बहुत हद तक रोक दिया है और देश के 146 जिलों में पिछले सात दिनों में इसका एक भी नया मामला सामने नहीं आया है। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि इसके अलावा, 18 जिलों में 14 दिनों से, छह जिलों में 21 दिनों से और 21 जिलों में पिछले 28 दिनों से कोरोना वायरस संक्रमण का एक भी नया मामला सामने नहीं आया है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार कोविड-19 पर मंत्रियों के समूह (जीओएम) की 23वीं बैठक की वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से अध्यक्षता करते हुए हर्षवर्धन ने कहा कि अत्यधिक तत्परता से जांच करने से यह उपलब्धि हासिल हुई है। देश में 19.5 करोड़ से ज्यादा नमूनों की अब तक जांच की जा चुकी है। नमूनों की जांच की वर्तमान क्षमता प्रति दिन 12 लाख जांच है। हर्षवर्धन ने कहा कि भारत ने इस महामारी की सफलतापूर्वक रोकथाम की है। बीते 24 घंटे में 12,000 से कम मामले सामने आए हैं, जबकि इलाजरत मरीजों की संख्या भी घट कर महज 1.73 लाख रह गई है। 
इलाजरत मरीजों में से मात्र 0.46 प्रतिशत वेंटिलेटर पर हैं, जबकि 2.20 फीसदी मरीज आईसीयू में भर्ती हैं और 3.02 प्रतिशत संक्रमितों को ऑक्सीजन दी जा रही है। हर्षवर्धन ने कहा कि वायरस के ब्रिटेन में मिले नए स्वरूप के भारत में अब तक 165 मामले सामने आएं हैं। नीति आयोग के सदस्य (स्वास्थ्य) डॉ. विनोद के पॉल और केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने प्रधानमंत्री द्वारा 16 जनवरी को शुरू किए गए टीकाकरण अभियान के बारे में जीओएम को अवगत कराया। डॉ पॉल ने बताया कि भारत टीक लगाने में दुनिया में छठे स्थान पर है और अगले कुछ दिनों में तीसरे स्थान पर आ जाएगा। 23 लाख लोगों को टीका लगाया गया है जिसमें से 16 को प्रतिकूल प्रभाव दिखने पर अस्पताल में भर्ती कराया गया है जो 0.0007 प्रतिशत है। टीके के प्रतिकूल प्रभाव का कोई गंभीर मामला या किसी की मौत होने का मामला अब तक सामने नहीं आया है। राष्ट्रीय रोग नियंत्रण केंद्र (एनसीडीसी) के निदेशक डॉ सुजित के सिंह ने भारत में कोविड-19 के वर्तमान और भावी परिदृश्य को लेकर एक विस्तृत रिपोर्ट पेश की। भारत में गत सात दिनों में मामले बढ़ने की दर 0.90 प्रतिशत है जो दुनिया में सबसे कम है। भारत में इस रोग से होने वाली मृत्यु की दर में भी कमी दिख रही है। यह जून 2020 के मध्य में 3.4 फीसदी थी जो अब 1.4 प्रतिशत पर आ गई है। देश के पांच जिलों-मुंबई, तिरुवनंतपुरम, एर्नाकुलम, कोट्टयम और कोझीकोड में फिलहाल संक्रमण का इलाज करा रहे मरीजों की संख्या सबसे ज्यादा है। सिंह ने बताया कि देश में संक्रमण इलाज करा रहे कुल मरीजों में से 70 प्रतिशत महाराष्ट्र और केरल के हैं।