लखनऊ। विभागीय कार्यवाही में लापरवाही बरतने पर मुजफ्फनगर के बडे अफसर सहित पूरे यूपी के 18 अधिकारियों पर बडी कार्यवाही की गई है, जिसके कारण पूरे विभाग में हडकंप मच गया है।
प्राप्त जानकारी के मुताबिक पशुधन एवं दुग्ध विकास मंत्री धर्मपाल सिंह बुधवार को विभागीय योजनाओं की समीक्षा कर रहे थे। इस दौरान उन्होंने निराश्रित गोवंश का सही आंकड़ा न प्रस्तुत करने एवं कार्य में लापरवाही पर मुजफ्फरनगर, बहराइच, बलिया के मुख्य पशुचिकित्साधिकारियों का स्पष्टीकरण और बरेली के लिपिक को प्रतिकूल प्रविष्टि दिए जाने के निर्देश दिए।
कब्जा मुक्त की गई भूमि के संबंध में रिपोर्ट प्रस्तुत न करने पर हरदोई, अलीगढ़, कौशाम्बी, जालौन, फतेहपुर, गौतमबुद्धनगर, गोरखपुर, हापुड़, बागपत, महोबा, गाजियाबाद तथा हमीरपुर के पशुचिकित्साधिकारियों के भी स्पष्टीकरण लिए जाने के निर्देश दिए हैं।
साथ ही मथुरा एवं बुलन्दशहर के मुख्य पशुचिकित्साधिकारी द्वारा विभिन्न योजनाओं में अपेक्षित प्रगति न करा पाने पर विभागीय कार्यवाही के साथ स्पष्टीकरण के निर्देश भी दिये।
बैठक में पशुधन मंत्री ने कहा कि एक नवम्बर से 31 दिसम्बर तक निराश्रित गोवंश को आश्रय स्थलों में संरक्षित करने के लिए राज्य सरकार प्रतिबद्ध है और इस कार्य में किसी भी अधिकारी, कर्मचारी द्वारा किसी भी स्तर पर लापरवाही या उदासीनता बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
उन्होने कहा कि यह कार्य मिशन मोड में संपन्न करा कर शत प्रतिशत पूर्ण किया जाना है। यदि कोई भी अधिकारी निर्धारित अवधि में अपने लक्ष्यों को प्राप्त नहीं करता है और निराश्रित गोवंश किसानों के खेतों, सड़कों, गॉवों या नगर कस्बों की गलियों में विचरण करते हुए पाया जाता है तो संबंधित पर सख्त से सख्त कार्यवाही की जाएगी।