शामली। शिक्षक दिवस पर कलक्ट्रेट सभागार में शिक्षकाें का सम्मान समारोह किया गया। वहां 38 शिक्षकों को पुरस्कार देकर सम्मानित किया और इससे पूर्व मुख्यमंत्री का लाइव प्रसारण दिखाया गया। मुख्य अतिथि एमएलसी वीरेंद्र सिंह ने कहा कि शिक्षा का महत्व जीवन में बहुत जरूरी है। शिक्षा के बिना जीवन अधूरा है।
मंगलवार को कलक्ट्रेट शामली के सभागार में बेसिक/माध्यमिक शिक्षा विभाग द्वारा आयोजित शिक्षक सम्मान समारोह का शुभारंभ मुख्य अतिथि एमएलसी वीरेंद्र सिंह, विशिष्ट अतिथि पूर्व विधायक तेजेंद्र निर्वाल, डीएम रविंद्र सिंह, सीडीओ रंजीत सिंह, जिला विद्यालय निरीक्षक जेएस शाक्य, बीएसए कोमल, ब्लॉक प्रमुख कांधला विनोद मलिक, अमित मलिक प्राचार्य राजकीय इंटर कॉलेज कंडेला ने किया। उसके बाद वहां सजीव प्रसारण के माध्यम से मुख्यमंत्री के संबोधन को सुना गया।
एमएलसी वीरेंद्र सिंह ने कहा कि जब हम पढ़ते थे उस समय व्यवस्थाओं का अभाव था, परंतु फिर भी अध्यापक मेहनत करते थे और सफलता प्राप्त होती थी। उन्होंने कहा कि गुरु का दर्जा भगवान से भी ज्यादा है। बच्चे हमारे देश का भविष्य है। शिक्षक उनको अपने बच्चे समझ कर शिक्षित करें, ताकि वह आगे चलकर अपने देश का प्रदेश का और जनपद का नाम रोशन करें। पूर्व विधायक तेजेंद्र निर्वाल ने कहा कि देश का भाग्य शिक्षक के हाथ में होता है। डीएम रविंद्र सिंह ने कहा कि शिक्षा में शिक्षक की भूमिका सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण होती है। डीएम ने सम्मानित हुए सभी शिक्षकों से अपने-अपने विद्यालयों में अगले दो महीने में कक्षा 1, 2 व 3 के बच्चों को निपुण बनाने पर बल दिया। बीएसए कोमल ने बताया कि जनपद स्तर पर आयोजित कार्यक्रम में शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य करने वाले बेसिक में 28 शिक्षकों व माध्यमिक शिक्षा विभाग में 10 उत्कृष्ट प्रधानाचार्य/शिक्षकों को प्रशस्ति पत्र प्रदान कर सम्मानित किया गया।
बीएसए कोमल ने बताया कि विकास राठी सहायक अध्यापक कंपोजिट विद्यालय सोंटा का चयन राज्य अध्यापक पुरस्कार के लिए किया गया था। उन्हें लखनऊ में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ व शिक्षा मंत्री ने पुरस्कार देकर सम्मानित किया है।