शामली। भाकियू ने कलक्ट्रेट परिसर में तीसरे दिन भी धरना दिया। उन्होंने बिजली कनेक्शन काटने, बकाया गन्ना भुगतान दिलाने, तहसील में भ्रष्टाचार रोकने सहित आदि मांगों को लेकर केंद्र व प्रदेश सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। शाम को एडीएम ने धरनास्थल पर पहुंचकर वार्ता की और समस्याओं के समाधान का आश्वासन देकर धरना समाप्त कराया।

को भाकियू टिकैत जिलाध्यक्ष कालेंद्र मलिक के नेतृत्व में किसानों का धरना जारी रहा। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार लगातार किसानों का उत्पीड़न कर रही है, जिसे सहन नहीं किया जाएगा। विद्युत निगम द्वारा किसानों को परेशान किया जा रहा है और नलकूपों पर मीटर लगाने के नाम पर उत्पीड़न किया जा रहा है। यदि कोई किसान इसका विरोध करता है तो उसके खिलाफ झूठा मुकदमा दर्ज करा दिया जाता है, जिससे किसान परेशान हो चुका है। जिलाध्यक्ष ने कहा कि बिजली कनेक्शन काटने, बकाया गन्ना भुगतान, शामली तहसील में भ्रष्टाचार को खत्म करने, बाढ़ में तबाह हुई फसल का मुआवजा दिलाने, नलकूपों पर मीटर लगने से रोकने आदि मांगों को जब तक पूरा नहीं किया जाता तब तक उनका धरना जारी रहेगा।

शाम पांच बजे एसडीएम और विद्युत निगम के एक्सईएन कलक्ट्रेट में भाकियू कार्यकर्ताओं के बीच पहुंचे। इस दौरान कार्यकर्ताओं की एक्सईएन से भी नोकझोंक हुई। विद्युत निगम द्वारा बेवजह छापामारी नहीं करने तथा मामले की जांच कराने का आश्वासन किसानों को दिया गया। जिस पर धरने को समाप्त कर दिया गया। भाकियू कार्यकर्ता अजयवीर त्यागी ने बताया कि शाम पांच बजे धरना समाप्त किया गया। एडीएम संतोष कुमार ने बताया कि विद्युत निगम के अधिकारियों को किसानों को परेशान न करने के बारे में कहा गया है।

इस मौके पर रविंद्र लांक, कालूराम, ऋषिपाल, जयवीर सिंह, सतपाल पहलवान, वीर सिंह, मुनव्वर हसन, योगेंद्र पंवार, अब्बास प्रमुख, डॉ. उदयवीर सिंह, अजयवीर त्यागी, दिल बहार हसन, ईश्वर सिंह, अजय, गौतम पंवार, धर्मेंद्र मलिक आदि मौजूद रहे।

दिल्ली-देहरादून इकोनाॅमिक कॉरिडोर की समस्याओं को लेकर कलक्ट्रेट में किसानों ने धरना-प्रदर्शन किया और भाकियू के अनिश्चितकालीन धरना को किसान संघर्ष समिति के एक प्रतिनिधि मंडल ने समर्थन दिया। उसके बाद डीएम को भी ज्ञापन सौंपा। प्रतिनिधि मंडल में बाबा श्याम सिंह मलिक, समिति के अध्यक्ष ठाकुर वीर सिंह, विदेश मलिक, चौधरी विजेंद्र सिंह, योगेंद्र प्रधान, प्रमोद, भोपाल सिंह, डॉक्टर तेजपाल, दिनेश आदि मौजूद रहे।