शामली. हरिद्वार कांवड़ मेला 2022 के मद्देनजर संपूर्ण कांवड़ मार्ग पर ड्रोन कैमरों और हेलिकाप्टर से निगरानी रखी जाएगी। 93 सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे। पुलिसकर्मियों की भूमिका शिवभक्तों के मददगार के रूप में होगी। कांवड़ मेला हरिद्वार 2022 में शिवभक्तों की सुरक्षा की दृष्टि से दो कंपनी पीएसी तैनात की जाएगी। 18 जुलाई से कांवड़ मार्ग शिवभक्तों के लिए आरक्षित हो जाएगा। दूसरे मार्गों से हल्के व भारी वाहनों का रूट डायर्वजन कर दिया जाएगा।
15 जुलाई से सावन मास शुरू हो रहा है। इसके साथ ही हरिद्वार, गंगोत्री, ऋषिकेश से गंगाजल लेकर लाखों कांवड़िये शामली व कैराना से होकर हरियाणा, मध्य प्रदेश, राजस्थान के लिए गुजरते हैं। इसके अतिरिक्त शामली शहर के विजय चौक से बिड़ौली यमुना पुल होते हुए हरियाणा के करनाल जिले से होकर गुजरते हैं।
80 फीसदी से ज्यादा शिवभक्त शामली से पानीपत होकर जींद, रोहतक, हांसी, हिसार, सिरसा, झज्जर, रेवाड़ी होकर राजस्थान व मध्य प्रदेश के लिए जाते हैं। करीब बीस फीसदी कांवड़िये करनाल होकर, कैथल, असंद कुुरुक्षेत्र जिलों की तरफ जाते हैं।
हरिद्वार कांवड़ मेला के जिला प्रशासन ने तैयारी शुरू कर दी है। शामली के एएसपी ओपी सिंह ने बताया कि जिले में संपूर्ण कांवड़ मेला क्षेत्र को सात सुपर जोन,19 जोन, 45 सेक्टरों मे बांटा है। सभी सेक्टर, जोन, सुपर जोन में जोनल, सेक्टर मजिस्ट्रेटों की तैनाती की जाएगी।
जोनल व सेक्टर मजिस्ट्रेट अपने सेक्टर व जोन में 24 घंटे कांवड़ मार्गों पर राउंड लेंगे। सुरक्षा की दृष्टि से दो पीएसी कंपनी, जिला पुलिस फोर्स, होमगार्ड, पीआरडी, के जवान तैनात किए जाएंगे। कांवड़ मार्ग पर निगरानी के लिए 15 निगरानी टावर, आठ पुलिस हाउस, संपूूर्ण कांवड़ मार्ग पर 93 सीसीटी लगाए जाएंगे।
हरिद्वार कांवड़ मेला शुुरू होते ही शिवभक्तों की ड्रोन कैमरों से सुरक्षा की निगरानी की जाएगी। कांवड़ मार्ग के लिए शिवभक्त कांवड़ियों की पुष्प वर्षा के लिए चार से पांच दिन के लिए हेलिकाप्टर मांगे गए हैं। हरिद्वार कांवड़ यात्रा के दौरान पुलिस कर्मचारियों की भूमिका शिवभक्त कांवड़ियों की मददगार के रूप में रहेगी। कांवड़ियों की संख्या को देखते हुए 18 जुलाई से रूट डायवर्जन प्लान लागू किया जाएगा।