शामली। हाईवे पर बाईपास से अंदर आने वाली शहरी क्षेत्र की तीन सड़कों में बने गड्ढों से लोगों को जल्द मुक्ति मिलने की उम्मीद जगी है। एनएचएआई ने इन सड़कों के निर्माण के लिए करीब सात करोड़ रुपये का बजट जारी किया है। सड़कों पर एक लेयर डालने के लिए एनएचएआई जल्द ही बजट की यह धनराशि पीडब्ल्यूडी को उपलब्ध कराएगा। इसके बाद पीडब्ल्यूडी का निर्माण कार्य शुरू करेगा।
जिले में मेरठ-करनाल हाईवे, पानीपत खटीमा हाईवे और दिल्ली-सहारनपुर हाईवे को जोड़ने वाले बाईपास का निर्माण चल रहा है। बाईपास के निर्माण के दौरान शहर को जोड़ने वाली सड़कों में गड्ढ़े हैं। एनएचएआई गड्ढ़ा भरवाता है, लेकिन कुछ दिन बाद ही बजरी उखड़ने से फिर गड्ढ़े बन जाते हैं। इस मामले में कुछ दिन पूर्व नगरपालिका की चेयरपर्सन अंजना बंसल व सभासदों ने डीएम जसजीत कौर को पत्र देकर शहरी क्षेत्र की सड़कों का निर्माण कराने की मांग उठाई थी। यह भी कहा था कि यदि एनएचएआई सड़कों का निर्माण नहीं कराता है तो नगरपालिका को अनुमति दी जाए।
पालिका चेयरपर्सन के पति पूर्व विधायक राजेश्वर बंसल ने बताया कि इस मामले में शहरी क्षेत्र की तीनों हाईवे पर बाईपास तक करीब आठ किलोमीटर लंबी सड़कों के निर्माण के लिए दो कोट का करीब 13 करोड़ रुपये के बजट का प्रस्ताव पीडब्ल्यूडी विभाग से तैयार कराकर एनएचएआई को पूर्व में भेजा गया था। इस बारे में वह कई बार डीएम से मिले और एनएचएआई अधिकारियों से वार्ता की। पूर्व विधायक बंसल ने बताया कि शुक्रवार को एनएचएआई के अधिकारी एसके मिश्रा ने उन्हें फोन पर जानकारी दी कि सड़कों के निर्माण कार्य एक कोट (लेयर) डालने का करीब सात करोड़ रुपये का बजट स्वीकृत हुआ है। बजट की धनराशि पीडब्ल्यूडी के खाते में एक-दो दिन में ट्रांसफर हो जाएगी। इसके बाद पीडब्ल्यूडी इन सड़कों का निर्माण शुरू करेगा। उन्होंने बताया कि सड़कों का निर्माण होने से लोगों को आवागमन में सुविधा मिलेगी।
सड़कों के गड्ढों को लेकर शहरवासियों को काफी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा था। जिसके बाद यह मुद्दा जिला योजना की बैठक में भी गूंजा। डीएम ने तब एनएचएआई के अधिकारियों को सड़कों को गड्ढा मुक्त करने के निर्देश दिए थे।