शामली। शामली में 11 साल के बच्चे ने सीएचसी में उपचार के अभाव में दम तोड़ दिया। परिजनों का आरोप है कि घंटों बीत जाने के बाद भी कोई डॉक्टर बच्चे को देखने का नहीं आया। मौके पर पहुंची पुलिस के कहने पर डाक्टरों ने मृत अवस्था में बच्चे को जिला अस्पताल रेफर कर दिया। वहीं सीएमओ ने परिजनों के आरोपों को निराधार बताया है।
देर रात लगभग साढ़े बारह बजे मोहल्ला आलखुर्द निवासी सायरा पत्नी इस्लाम बुखार से पीड़ित अपने 11 साल के बेटे आयान को कैराना सीएचसी पहुंची। जहां इमरजेंसी में ताला लटका मिला। जिसके बाद महिला चिल्लाती रही, लेकिन उसकी चीख सुनने वाला कोई नहीं था। उपचार न मिलने पर समय के साथ-साथ मासूम की हालत बिगड़ती चली गई। इसी बीच एक व्यक्ति का मेडिकल कराने के लिए पुलिस अस्पताल पहुंची, जिन्हाेंने बच्चे को तड़पता देखकर डाक्टर को बुलाया, लेकिन समय से उपचार न मिलने के मासूम की मौत हो गई।
पीड़िता का कहना है कि मेरा बेटा बुखार से पीड़ित था, जिसे रात में सांस लेने में दिक्कत होने लगी। इसके बाद उसे लेकर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र आए, जहां उपचार न मिलने के कारण बच्चे ने दम तोड़ दिया। आरोप है कि मौत के बाद चिकित्सक ने उसका अंगूठा लगवाकर मृत अवस्था में ही बच्चे को शामली रेफर कर दिया।
वहीं सीएमओ संजय अग्रवाल का कहना है कि महिला 11 साल के बेटे को लेकर सीचएसी आई थी,
जिसको सांस लेने में तकलीफ थी। डॉक्टर ने चेकअप के बाद उसे रेफर कर दिया। कैराना से शामली ले जाते वक्त बच्चे की मौत हो गई। परिजनों का आरोप निराधार है।